Rajasthan: दहेज के लिए गर्भवती बहू के पेट में मारी लात, गर्भ में ही बच्चे की मौत, अस्पताल वालों ने डब्बे में पैक कर मां को सौंपा

Alwar Dowry Case: इस वारदात से एक दिन पहले पीड़ित महिला को ससुराल वालों ने घर से निकाल दिया था. मगर बड़े-बुजुर्गों की समझाइश के बाद, उसे वापस भेजा गया था. अगले ही दिन महिला के साथ हुई मारपीट में उसने अपना बच्चा खो दिया.

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अलवर: दहेज के लिए दरिंदगी! गर्भवती बहू को पीटा, गर्भ में ही बच्चे की मौत
NDTV Reporter

Rajasthan News: राजस्थान के अलवर जिले के टहला थाना क्षेत्र से एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है, जहां दहेज की मांग पूरी न होने पर एक विवाहिता को उसके ससुराल वालों ने इतनी बेरहमी से पीटा कि उसका 3 महीने का गर्भ गिर गया. पीड़िता की हालत गंभीर है और वह अस्पताल में जिंदगी और मौत के बीच झूल रही है.

पीड़िता प्रियंका मीणा के पिता हरसहाय मीणा (निवासी बडला, तहसील राजगढ़) ने अपने दामाद सहित ससुराल पक्ष के 4 लोगों के खिलाफ टहला थाने में गंभीर धाराओं के तहत मामला दर्ज कराया है. हरसहाय मीणा ने आरोप लगाया है कि उनकी बेटी को शादी के बाद से ही लगातार दहेज के लिए प्रताड़ित किया जा रहा था.

'दहेज में दी मोटरसाइकिल, 1 लाख नकद और जेवरात'

हरसहाय मीणा ने अपनी शिकायत में बताया कि उन्होंने अपनी बेटी प्रियंका की शादी साल 2023 में बिगोता निवासी सर्वेश मीणा पुत्र लहरीप्रसाद मीणा के साथ की थी. शादी में उन्होंने अपनी हैसियत के हिसाब से एक मोटरसाइकिल, एक लाख रुपये नकद, सोने-चांदी के जेवरात और घरेलू सामान भी दिया था. इतना सब कुछ देने के बावजूद भी ससुराल पक्ष के लोग प्रियंका को लगातार ताने मारते रहे और अतिरिक्त दहेज की मांग करते रहे.

'कुछ महीने पहले दहेज के लिए घर से निकाल दिया था'

पीड़ित पिता ने बताया कि कुछ महीने पहले ससुराल वालों ने दहेज कम लाने का बहाना बनाकर प्रियंका को घर से निकाल दिया था. परिवार के बड़े-बुजुर्गों की समझाइश के बाद, 24 अक्टूबर को प्रियंका को वापस ससुराल भेजा गया, लेकिन अगले ही दिन, 25 अक्टूबर को क्रूरता की सारी हदें पार हो गईं.

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पेट पर लात, गर्भपात और अस्पताल में जिंदगी की जंग

25 अक्टूबर को प्रियंका ने अपने पिता को फोन पर बताया कि उसके पति, सास, ससुर और ननद ने मिलकर उसकी बुरी तरह पिटाई की है. सबसे भयानक आरोप यह है कि गर्भवती प्रियंका के पेट में लात मारी गई, जिससे उसे गंभीर चोटें आईं और तुरंत ब्लीडिंग शुरू हो गई. परिजनों ने तुरंत पुलिस को सूचना दी और प्रियंका को अस्पताल पहुंचाया. पहले उसे बिगोता अस्पताल ले जाया गया, फिर राजगढ़ और अंततः अलवर के राजकीय महिला अस्पताल रेफर किया गया. यहां डॉक्टरों ने परिवार को बताया कि गर्भ में पल रहा लगभग 3-4 महीने का भ्रूण (Fetus) समाप्त हो गया है. वर्तमान में, प्रियंका अस्पताल के वार्ड नंबर 28 के बेड नंबर 02 पर भर्ती है और उसकी हालत नाजुक बनी हुई है.

पुलिस ने दर्ज किया मामला, आरोपियों की तलाश जारी

टहला थाना पुलिस ने पीड़ित पिता हरसहाय मीणा की शिकायत पर आरोपी सर्वेश मीणा, लहरीप्रसाद मीणा, नर्बदा देवी और राहुल मीणा के खिलाफ मारपीट, दहेज उत्पीड़न और गर्भपात जैसी गंभीर धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज कर लिया है. पुलिस ने बताया कि मामले की गंभीरता को देखते हुए आरोपियों की तलाश में टीमें जुटी हुई हैं. 

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