Vinod Jakhar bail plea rejected: राजस्थान विश्वविद्यालय में RSS के शस्त्र-पूजन कार्यक्रम में हंगामा करने के आरोप में बंद एनएसयूआई प्रदेशाध्यक्ष विनोद जाखड़ समेत 9 आरोपियों की जमानत याचिका खारिज कर दी गई है. जयपुर महानगर प्रथम की न्यायिक मजिस्ट्रेट दक्षिण कोर्ट में सरकारी पक्ष रखा गया, "आरोपियों ने कार्यक्रम स्थल पर मंच का पोडियम गिराया, पोस्टर फाड़े और वहां मौजूद लोगों की धार्मिक भावनाओं को आहत किया. इसके अलावा पुलिस की गाड़ी की लाइट तोड़कर सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाया और राजकार्य में बाधा डाली."
"गिरफ्तार करने के बाद कई धाराएं जोड़ी गई"
यह भी दलील दी गई कि एनएसयूआई प्रदेशाध्यक्ष विनोद जाखड़ के खिलाफ पूर्व में भी इसी तरह के 6 मामले में दर्ज है, इसलिए उन्हें जमानत देना उचित नहीं होगा. इसके बाद बचाव पक्ष की ओर से कोर्ट को बताया गया कि पुलिस ने घटना के दौरान विनोद जाखड़ व अन्य को केवल शांति भंग की आशंका में गिरफ्तार किया था. लेकिन उन पर गंभीर अपराध के मामले दर्ज कर अलग से कार्रवाई की गई. कोर्ट ने जमानत याचिका खारिज कर दी.
बचाव पक्ष बोला- एक ही केस में 2 रिपोर्ट गैर-कानूनी
बचाव पक्ष की ओर से दलील में यह भी कहा गया कि एक ही घटनाक्रम में दो अलग-अलग रिपोर्ट बनाना कानून के खिलाफ है. मामले में अभियुक्तों को झूठा फंसाया गया है. मामले के निस्तारण में लंबा समय लगेगा, इसलिए आरोपियों को जमानत मिलनी चाहिए.
यह भी पढ़ेंः सचिन पायलट के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी से आक्रोश, थाने के बाहर जुटे समर्थक