Anup Jalota In Pushkar Mela: पुष्कर में चल रहे अंतरराष्ट्रीय पुष्कर मेले में सोमवार शाम भजन सम्राट अनूप जलोटा ने सात सुरों के साथ अपनी प्रस्तुति दी. अनूप जलोटा को सुनने के लिए बड़ी संख्या में लोग मेला मैदान पहुंचे. भजन सम्राट जलोटा ने 'चिट्ठी न कोई संदेश, कहां तुम चले गए' गीत से शुरुआत की और मेले की शाम का माहौल बनाकर श्रोताओं को मंत्रमुग्ध कर दिया.
पहले युवा हिंदी सीखें फिर ग़ज़ल समझें
मंच पर गाने के बाद अनूप जलोटा ने मीडिया से भी बात की. गजलों से दूर होती युवा पीढ़ी के सवाल पर कहा कि आज की युवा पीढ़ी ग़ज़ल से दूर हो गई है. इसका सबसे बड़ा कारण यह है कि युवा हिंदी बोलना नहीं जानते और जो हिंदी नहीं जानता, उसे उर्दू ग़ज़ल क्यों पसंद आएगी. इसलिए ज़रूरी है कि युवा पहले हिंदी बोलना और सीखना सीखें. उसके बाद उर्दू सीखें.
बड़े कलाकार पुष्कर मेले में आने को रहते है बेताब
इसके बाद उन्होंने कहा कि पुष्कर के इस अंतरराष्ट्रीय पशु मेले में बड़े से बड़े कलाकार अपनी प्रस्तुति देने के लिए आतुर रहते हैं और ऐसे आयोजन में दर्शकों के बीच जाने का मौका तलाशते हैं. वे खुद को भाग्यशाली मानते हैं कि उन्हें पुष्कर के अंतरराष्ट्रीय मेले में अपनी प्रस्तुति देने का मौका मिला.
मेलार्थियों ने भजन संध्या का उठाया लुफ्त
अंतर्राष्ट्रीय पुष्कर मेले के दौरान प्रसिद्ध भजन गायक अनूप जलोटा का कार्यक्रम समय 7:00 बजे की जगह 9:00 बजे प्रारंभ हुआ, जिसके चलते मेला मैदान में उम्मीद के मुताबिक भीड़ नहीं जुट पाई. इस मौके पर संभागीय आयुक्त महेशचंद शर्मा, जिला कलक्टर लोकबंधु, एडीएम गजेन्द्र सिंह, ज्योति ककवानी, नगर परिषद सभापति कमल पाठक, एसडीएम गौरवकुमार मित्तल, आयुक्त कीर्ति कुमावत, भाजपा नेता अरूण वैष्णव आदि प्रबुद्धजन एवं मेलार्थियों ने भजन संध्या का लुफ्त उठाया
सरोवर पर महाआरती का दौर शुरू
धार्मिक मान्यताओं के अनुसार पुष्कर में कार्तिक एकादशी से पूर्णिमा तक पांच दिवसीय पंचतीर्थ महास्नान चलता है. मुख्य वराह घाट के मुख्य पुजारी पंडित रविकांत शर्मा ने बताया कि इन पांच दिनों में पुष्कर में 33 करोड़ देवी-देवता निवास करते हैं. इन्हीं मान्यताओं के चलते पुष्कर सरोवर में महाआरती की जाती है, जिसमें देशभर से श्रद्धालु भाग लेते हैं. मंगलवार देर शाम हुई महाआरती में विदेशी पर्यटकों ने भी भाग लेकर भारतीय धार्मिक संस्कृति के प्रति अपना प्रेम प्रकट किया.