भजनलाल सरकार का बड़ा फैसला, भीलवाड़ा नगर परिषद बना नगर निगम; राकेश पाठक बने पहले महापौर

स्वायत्त विभाग के भीलवाड़ा नगर परिषद को नगर निगम बनाने का आदेश जारी कर दिया है. सरकार के इस फैसले से भीलवाड़ा का अब तेजी से विकास होगा. 

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Rajasthan News: राजस्थान के बजट में घोषणा के बाद अब भीलवाड़ा नगर परिषद को अब नगर निगम बना दिया गया. सोमवार (02 सितंबर) को स्वायत्त शासन ने विभाग ने नगर निगम बनाने का आदेश जारी कर दिया है. इसी के साथ ही  भीलवाड़ा नगर परिषद के सभापति राकेश पाठक शहर के पहले महापौर बन गए. नगर परिषद से नगर निगम बनने पर राजनीतिक दलों में हर्ष का माहौल है. 

राकेश पाठक बने पहले महापौर

सरकार के इस फैसले के बाद औद्योगिक व कपड़ा नगरी भीलवाड़ा के विकास को रफ्तार मिलेगी. नगर निगम बनाने की अधिसूचना जारी होने पर भीलवाड़ा में राजनीतिक दलों के कार्यकर्ताओं और जनप्रतिनिधियों में जश्न का माहौल हो गया. भीलवाड़ा नगर निगम के पहले महापौर राकेश पाठक ने बताया कि राज्य सरकार ने शहर की बढ़ते फैलाव और जनसंख्या के आधार पर नगर परिषद से भीलवाड़ा को नगर निगम में कमोन्नत करने का निर्णय लिया है.

बजट में नगर निगम बनाने की हुई थी घोषणा

बता दें कि वित्त मंत्री दिया कुमारी ने इस बार बजट में भीलवाड़ा नगर परिषद को नगर निगम बनाने की घोषणा की थी. सरकार की इस घोषणा के बाद कपड़ा नगरी भीलवाड़ा के औद्योगिक विकास को पर लगने की उम्मीद जगी थी. नगर निगम बनाने की घोषणा के अलावा भीलवाड़ा में ट्रैफिक मैनेजमेंट के लिए 150 करोड रुपए देने की घोषणा हुई थी. 

1935 में बनी नगर पालिका

कपड़ा नगरी भीलवाड़ा 1935 में पहली बार नगरी निकाय की सूची में शामिल हुई थी. तब भीलवाड़ा को नगर पालिका का दर्जा दिया गया था. 1971 में तत्कालीन सरकार ने भीलवाड़ा को नगर परिषद का दर्जा दिया था. नगर परिषद की सौगात मिलने के साथ ही बंशीलाल पटवा भीलवाड़ा के पहले चेयरमैन बने. पटवा ने राजनीतिक पारी की शुरुआत नगर परिषद अध्यक्ष से की. इसके बाद वह दो बार भीलवाड़ा से विधायक भी चुने गए. 

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