देवली उनियारा हिंसा के बाद अब समरावता गांव में पटरी पर लौट रही जिंदगी, ग्रामीणों ने की मुआवजे की मांग

देवली-उनियारा सीट पर उपचुनाव के बाद आगजनी और हिंसा की तस्वीर सामने आई. इससे गांव में लोग दहशत में नजर आ रहे है.

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NDTV से खास बातचीत की तस्वीर

Deoli-Uniara Violence: देवली-उनियारा सीट पर उपचुनाव में समरावता गांव में मतदान के दौरान निर्दलीय प्रत्याशी नरेश मीणा द्दारा ड्यूटी पर तैनात मजिस्ट्रेट को थप्पड़ मारने का मामला पूरे देश में चर्चा का विषय बन गया. मतदान के बाद गांव में हुई हिंसा, आगजनी और गोलीबारी के बाद घटना के चौथे दिन समरावता गांव में दहशत भरी शांति है. जिंदगी अब पटरी पर लौटने लगी है तो कई घरों पर लगे ग्रामीणों के मन में बैठी दहशत की कहानी बया कर रहे है.

गांव में हुई हिंसा और आगजनी के निशा भले ही जले हुए वाहनों को वहां से हटाकर पुलिस ने मिटा दिए हो, लेकिन ग्रामीणों के जहन में हिंसा और आगजनी का वह मंजर जिंदगी भर मिटाना मुश्किल है. ऐसे में घटना के चौथे दिन गांव में पसरे सन्नाटे के बीच NDTV की टीम ने समरावता गांव पंहुचकर पटरी पर लौटती जिंदगी के बीच हालात का जायजा लिया. 

नरेश मीणा को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से किया गया पेश

समरावता में निर्दलीय प्रत्याशी नरेश मीणा द्दारा ड्यूटी मजिस्ट्रेट और एसडीएम मालपुरा अमित कुमार चौधरी के मतदान परिसर में थप्पड़ मारने और उसके बाद समरावता गांव में रात्रि को हुई हिंसा और आगजनी के बाद शुक्रवार को पुलिस ने नरेश मीणा सहित कुल 53 आरोपियों को 2 मामलों में कोर्ट में पेश किया गया था, जिसमें नरेश मीणा को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से पेश किया गया.

वह 52 आरोपियों को निवाई में न्यायिक मजिस्ट्रेट के समक्ष पेश किया गया. इस मामले में कोर्ट ने सभी आरोपियों को जेल भेजने के आदेश दिए. वहीं इस मामले को लेकर शनिवार को ग्रामीण उनियारा के मजिस्ट्रेट कार्यालय पर पहुंचे और आगामी कानूनी कार्यवाही के साथ जनहित याचिका में नरेश मीणा के अधिवक्ता नजर आए.

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