बेटे ने बनाया जिंदा मां का Death Certificate, फिर पत्नी के साथ मिलकर किया बड़ा खेल

बेटे ने ग्राम पंचायत से मिलकर फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र बनवाया. 7 साल पहले ग्राम पंचायत ने महिला का मृत्यु प्रमाण पत्र जारी कर दिया. जबकि बुजुर्ग महिला आज तक जीवित है. 

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पीड़ित वृद्धा भंवर कंवर

Fake Death Certificate: भारतीय संस्कृति में माता पिता का सम्मान सर्वोपरी माना जाता है. हर मां-बाप यह सोचकर अपनी बच्चों की परवरिश करते हैं कि वे बुढ़ापे में उनका सहारा बनेंगे. लेकिन बदले दौर में बढ़ते लालच और जमीन जायदाद को लेकर संताने ही कलयुगी संतान साबित हो रही है. स्थिति यह है कि जिन संतानों को बुढ़ापे में अपने मां-बाप के सहारे की लाठी बनना चाहिए, वही संताने माता पिता को लावारिस छोड़ रहे हैं. ऐसा ही मामला डीडवाना जिले के कुचामन सिटी के ग्राम आसपुरा से सामने आया है. जहां एक बेटे ने अपनी जीवित मां को ही मृत बताकर उनकी प्रॉपर्टी हड़प ली. इस कलयुगी बेटे ने प्रॉपर्टी के लालच में अपनी मां को 7 साल पहले ही मृत घोषित कर फर्जी तरीके से मृत्यु प्रमाण पत्र बनवा लिया. जबकि उसकी मां आज तक जीवित है.

बेटे और बहु ने की साजिश

इस मामले को लेकर पीड़ित महिला ने कुचामन पुलिस थाने में मामला दर्ज करवाया है. रिपोर्ट में 59 वर्षीय वृद्धा भंवर कंवर ने बताया कि उनके पति मदनसिंह राजपूत की 14 साल पहले मौत हो गई थी. जिसके बाद आसपुरा में उनकी जमीन उनके साथ उसके बेटे रघुवीर सिंह और बलवीर सिंह के नाम रेवेन्यू रिकॉर्ड में दर्ज हो गई.

इसके बाद उसके बड़े पुत्र रघुवीर सिंह व उसकी पत्नी मंजू कंवर ने मिलकर तत्कालीन जिलिया ग्राम पंचायत प्रशासन से मिलीभगत कर कूटरचित दस्तावेज के आधार पर 4 फरवरी 2019 को उसका मृत्यु प्रमाण पत्र जारी करवा लिया. जिसमें मौत की तारीख 19 अक्टूबर 2017 अंकित करवा ली.

जमीन हथियाने के लिए बेटे-बहू ने रचा षड़यंत्र

बुजुर्ग भंवर कंवर ने बताया कि वह कई सालों से अपने छोटे बेटे बलवीर के पास रह रही है. बड़ा बेटा रघुवीर उनसे अलग रह रहा था. लेकिन जमीन को कब्जाने के लिए बड़े बेटे रघुवीर सिंह ने षड्यंत्र रचकर फर्जी दस्तावेज तैयार कर लिया. फिर उनका फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र बनाकर पूरी जमीन को हड़प लिया. इसके बाद रघुवीर सिंह ने हड़पी हुई जमीन को अन्य व्यक्ति के नाम बेच दिया.

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जिलिया पंचायत ने बनाया मृत्यु प्रमाण पत्र 

वृद्धा भंवर कंवर का मृत्यु प्रमाण पत्र तत्कालीन जिलिया पंचायत से जारी किया गया. जो वर्ष 2019 में 19 अक्टूबर 2017 की मृत्यु तारीख का बना दिया गया. नियमों के अनुसार मृत्यु प्रमाण पत्र बनाने से पहले पंचायत विभाग की ओर से दस्तावेजों की जांच होनी चाहिए थी. लेकिन तत्कालीन जिलिया ग्राम पंचायत के ग्राम सेवक ने बिना दस्तावेजों की जांच किए ही भंवर कंवर का मृत्यु प्रमाण पत्र जारी कर दिया. 

बुजुर्ग महिला ने लगाई न्याय की गुहार

बुजुर्ग महिला ने अपने ही बहु और बेटे के खिलाफ कुचामन पुलिस थाने में रिपोर्ट दर्ज करवाकर कुचामन पुलिस से न्याय की गुहार लगाई. पीड़िता ने बताया कि उसके पुत्र ने तो जमीन के लालच में आकर उसका मृत्यु प्रमाण पत्र बनवा लिया. पंचायत प्रशासन को सारी जानकारी होने के बावजूद उन्होंने चंद रुपयों के लालच में आकर बुजुर्ग को दर-दर की ठोकरे खाने को मजबूर कर दिया. इसलिए पुलिस पूरे मामले में जांच कर दोषियों को सजा दिलाए. 

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वहीं इस मामले में कुचामन थानाधिकारी सुरेश कुमार चौधरी का कहना है कि महिला की रिपोर्ट पर फर्जी मृत्यु प्रमाण बनाकर जमीन हड़पने का मुकदमा दर्ज किया है. मृत्यु प्रमाण की ग्राम पंचायत से जानकारी जुटाकर जांच की जाएंगी. इस मामले में दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.

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