Rajasthan News: राजस्थान में इस वक्त भीषण गर्मी पड़ रही है. कई इलाकों में दिन के समय अधिकतम तापमान 46 डिग्री सेल्सियस के पार पहुंच रहा है. ये इतना अधिक है कि ज्यादा समय धूप के संपर्क में रहने से बच्चे और बुजुर्गों को बीमार कर सकता है. मौसम विभाग ने कुछ दिन पहले अपने अलर्ट में इसका जिक्र किया था. लेकिन अब इसका असर दिखने लगा है. राजस्थान के कई जिलों में मरीजों की संख्या बढ़ने लगी है. अस्पताल की ओपीडी के बाहर लाइनें लग रही हैं, जो बीते 2 हफ्तों की तुलना में दोगुना से ज्यादा लंबी हैं. दौसा जिले के रामकरण जोशी अस्पताल से आज एक ऐसी ही तस्वीर सामने आई है. लोग इलाज के लिए लाइनों में लगे हुए हैं. लेकिन पर्याप्त डॉक्टर और नर्सिंग स्टाफ नहीं होने के कारण उन्हें घंटो इंतजार करना पड़ रहा है.
OPD में प्रतिदिन आ रहे 600 से ज्यादा बच्चे
चाइल्ड स्पेशलिस्ट डॉक्टर रविंद्र शर्मा का कहना है कि वर्तमान में जिला अस्पताल की ओपीडी में आने वाले बीमार बच्चों का आंकड़ा प्रतिदिन 600 से अधिक हो गया है. ये सभी मौसमी बीमारी से ग्रस्त हैं, और उनहें पेट दर्द, उल्टी, दस्त, बुखार, खांसी जैसी दिक्कते होती हैं. इसी प्रकार फिजिशियन डॉ के सी शर्मा ने बताया कि जैसे-जैसे गर्मी बढ़ती जा रही है, वैसे-वैसे मौसमी बीमारीयों के साथ ओपीडी में लगातार मरीजों की संख्या बढ़ रही है. हम सभी का इलाज कर रहे हैं, लेकिन भीड़ इतनी ज्यादा है कि यहां लंबी-लंबी लाइनें लग जाती हैं. मरीजों को देखने के बाद वो दवाई लेने दूसरे काउंटर पर जाते हैं. जिसके बाद वहां भी उन्हें लाइन में लगना पड़ता है. इस कारण समस्या बढ़ती जा रही है.
सोनोग्राफी की 5 मशीन पर 1 डॉक्टर
दौसा जिले के मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ सीताराम मीणा ने एनडीटीवी से बातचीत में बताया कि जिले में करीब 100 डाक्टरों के पद रिक्त हैं. फिलहाल यहां 2 सोनोलॉजिस्ट डॉक्टर हैं, लेकिन सरकार ने उन्हें भी सिकराय और भांडारेज में तैनात किया हुआ है. खास बात यह है कि जहां इन डॉक्टरों की तैनाती की गई है, उन अस्पतालों में सोनोग्राफी मशीने ही नहीं हैं. सीएमएचओ का कहना है कि दौसा जिला अस्पताल में 5 सोनोग्राफी मशीने हैं, लेकिन सोनोलॉजिस्ट 1 डॉक्टर है. इस मामले में जिला कलेक्टर को प्रस्ताव भेज रखा है. साथ ही स्वास्थ्य मंत्री को जानकारी दी गई है. सरकार के आदेश के बाद ही सोनोलॉजिस्ट डॉक्टरों की तैनाती की जा सकती है.
डॉक्टर्स के 100 तो सीनियर नर्स के 65 पद खाली
दौसा जिले में 3 जिला अस्पताल हैं. पहला दौसा में, दूसरा महवा में और तीसरा लालसोट में है. इसके अलावा यहां 3 उप जिला अस्पताल हैं. पहला बांदीकुई, दूसरा रामगढ़ पचवारा और सिकराय में है. जिले में कुल 28 सीएचसी और 75 प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र हैं, जहां पर कुल 344 डाक्टर्स की जरूरत है. लेकिन वर्तमान में यहां सिर्फ 244 डॉक्टर्स ही हैं. यानी 100 पद खाली पड़े हुए हैं. इसी तरह सीनियर नर्सिंग ऑफिसर कुल पद 105 पद हैं, लेकिन तैनाती सिर्फ 40 पदों पर ही हुई है, और 65 पद खाली पड़े हुए हैं.
रिक्त पदों पर कब होंगी भर्तियां?
इसी तरह नर्सिंग ऑफिसर के कुल 606 पद हैं, जिनमें से 348 भरे हुए हैं, और 258 पद अब भी रिक्त हैं. रेडियोग्राफर के कुल 7 पद हैं, लेकिन 6 ही भरे हुए हैं, 1 अभी भी रिक्त है. सहायक रेडियोग्राफर के कुल 50 पद हैं, लेकिन 40 पद ही भरे हुए हैं, 10 पद पर अब भी वैकेंसी है. फार्मेसिस्ट के कुल 99 पद हैं, लेकिन सिर्फ 46 पद ही भरे गए हैं, 56 अब भी खाली हैं. एलएचवी के कुल 66 पद हैं, 8 भरे हुए हैं, 58 खाली हैं. ANM के कुल 426 पद हैं, जिनमें सिर्फ 308 ही भरे गए हैं, 118 अब भी खाली हैं. इसी तरह सीनियर लैब टेक्नीशियन के कुल 21 पद हैं, जिनमें 11 भरे हुए हैं, 11 पर अभी भी तैनाती नहीं हुई है. लैब टेक्नीशियन के भी कुल 99 पद हैं, जिनमें 60 भरे हुउ हैं, और 39 खाली हैं. लैब सहायक के कुल 32 पद हैं, जिनमें 18 भरे हुए हैं और 14 पद खाली हैं.