SI भर्ती: जयपुर में पानी की टंकी पर चढ़े किरोड़ी लाल मीणा, चीख-चीख कर रो रहा युवक

NDTV से बात करते हुए किरोड़ी लाल मीणा ने कहा कि हमारी सरकार ने SI पेपर लीक का पर्दाफाश किया है.  हमने 50 से ज़्यादा ट्रेनी SI को गिरफ्तार किया है. हमने भर्ती के भविष्य के लिए कमेटी बनाई है. जो हर पहलु से इसकी जांच कर रही है.

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SI Paper Leak Case: पिछले 48 घंटे से जयपुर की हिम्मत नगर में पानी की टंकी पर चढ़े दो SI अभ्यर्थी विकास बिधूड़ी और लादू गोदारा से मिलने कृषि मंत्री किरोड़ी लाल मीणा कुछ देर पहले पहुंचे हैं. इस दौरान मीडिया से बात करते हुए उन्होंने कहा कि वो इन दोनों युवाओं को मना लेंगे. हालांकि, पुलिस प्रशासन की टीम पहले ही काफी मान मनौव्वल कर रही है, लेकिन दोनों अभ्यर्थी CM से मिलने की ज़िद कर रहे हैं. 

अब इन युवकों से मिलने खुद किरोड़ी लाल मीणा खुद टंकी पर चढ़ गए हैं . उनके लिए पानी और खाना भी लेकर गए हैं. 

उनकी मांग है कि SI भर्ती को रद्द किया जाये.  इससे पहले आज सुबह पुलिस प्रशासन ने उन्हें पानी पीने के लिए पहुंचाया. लेकिन, उन्होंने पानी नहीं पीया. पानी की टंकी पर चढ़े विकास बिधूड़ी ने कहा, "हमें पानी में कुछ मिलाकर दिया गया, हम पानी नहीं पी पा रहे हैं." 

हमने 50 ट्रेनी SI को किया गिरफ्तार- किरोड़ी 

इस दौरान NDTV से बात करते हुए किरोड़ी लाल मीणा ने कहा कि हमारी सरकार ने SI पेपर लीक का पर्दाफाश किया है.  हमने 50 से ज़्यादा ट्रेनी SI को गिरफ्तार किया है. हमने भर्ती के भविष्य के लिए कमेटी बनाई है. जो हर पहलु से इसकी जांच कर रही है. लेकिन मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के विदेश जाने से मामला लटक गया. लेकिन अब उपचुनाव पर कोई फैसला लिया जाएगा.

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''पेपर माफिया पैदा नहीं होते तो आज ये लोग थानेदार होते''

किरोड़ी ने टंकी पर चढ़े युवकों के बार में भी जानकारी दी. उन्होंने कहा ''उनमें से एक विकास बिधूड़ी परीक्षा में 7 नंबर से परीक्षा पास नहीं कर पाया. वहीं दूसरा अभ्यर्थी लादू गोदारा महज तीन नंबर से परीक्षा पास नहीं कर सका. ये वो महनती बच्चे हैं, अगर पिछले राज में ये बेईमानी नहीं होती. पेपर माफिया पैदा नहीं होते तो आज ये लोग थानेदार होते''

जमानत याचिका पर हाईकोर्ट में चल रही सुनवाई 

SI पेपर लीक मामले में 20 आरोपियों की जमानत याचिका पर हाईकोर्ट में सुनवाई चल रही है. अब सुनवाई आखिरी दौर में है. यह फैसला काफी महत्वपूर्ण है, क्योंकि इस मामले में अब तक किसी आरोपी पर दोष सिद्ध नहीं हुआ है. अगर हाईकोर्ट इनको जमानत देता है तो इससे जांच एजेंसियों को झटका लगेगा. साथ ही भर्ती रद्द करने की मांग भी कमजोर होगी. 

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