राजस्थान की जेल में बंद कैदी अब पेट्रोल-पंप पर करेंगे काम, गाड़ियों में डालेंगे तेल

जेल अधीक्षक प्रमोद सिंह ने बताया कि जेल परिसर में पेट्रोल पंप खोलने के आदेश मिले हैं. खुली जेल में जमीन का आवंटन किया जा चुका है. तेल कंपनी जल्द ही यहां पर पेट्रोल पंप स्थापित करेगी.

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Rajasthan News: जेल में बंद कैदियों को आपने खेती काम करते हुए जरूर सुना होगा. हालांकि, अब जेल में बंद कैदी पेट्रोल पंप पर भी काम करेंगे. वे पेट्रोल-पंप पर गाड़ियों में तेल में डालेंगे. सुनने में थोड़ा अजीब जरूर लगेगा, लेकिन यह सच है. राजस्थान में खुली जेल में सजा काट रहे बंदियों के लिए पेट्रोल पंप खोला जा रहा है. इसके लिए सरकार के पास प्रस्ताव भेजा जा चुका है. यहीं नहीं, पेट्रोल खोलने के लिए जमीन भी आवंटित की जा चुकी है. 

मजदूरी के लिए बाहर जाते थे कैदी

दरअसल, खुली जेल में बंद कैदियों को मजदूरी के लिए बाहर भेजा जाता था. मजदूरी पर जाने से पहले सुबह 6 बजे कैदियों को हाजिरी देनी होती है. इसके बाद शाम को वापस लौटने के बाद सात बजे हाजिरी लगाकर अपने बैरक में जाते हैं. खेती व मजदूरी के अलावा कैदियों को अब अब कैदी पेट्रोल पंप पर भी काम करवाया जाएगा. इसके लिए झुंझुनूं समेत राजस्थान के छह जिलों की जेल में पेट्रोल पंप खोलने का प्लान है. इसके लिए सरकार को प्रस्ताव भेजा दिया गया है. 

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पेट्रोल-पंप पर तेल में डालेंगे कैदी

झुंझुनूं की खुली जेल में पेट्रोल पंप के लिए जमीन भी आवंटित हो चुकी है. जेल में तेल कंपनी का पेट्रोल पंप होगा. पंप शुरू होते ही सबसे पहले कैदियों को काम पर लगाया जाएगा. ये बंदी यहां पर आने-जाने वाले वाहनों में पेट्रोल-डीजल डालेंगे. पंप की मॉनटरिंग का काम जेल प्रशासन का होगा. बता दें कि इन पेट्रोल पंप पर उन्हीं बंदियों का लगाया जाएगा, जिन्हें सजा हो चुकी है. झुंझुनूं की खुली जेल में अभी 13 बंदी हत्या के मामले में सजा काट रहे है. कुछ बंदी अपने परिवार के साथ रह रहे हैं,  वहीं कुछ अकेले ही रहते है. 

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खुली जेल में पेट्रोल-पंप के लिए जमीन आवंटित

जेल अधीक्षक प्रमोद सिंह ने बताया कि जेल परिसर में पेट्रोल पंप खोलने के आदेश मिले हैं. खुली जेल में जमीन का आवंटन किया जा चुका है. तेल कंपनी जल्द ही यहां पर पेट्रोल पंप स्थापित करेगी. इस पंप पर खुली जेल में सजा काट रहे बंदियों को लगाया जाएगा. ताकि इन्हें मजदूरी करने के लिए बाहर नहीं जाना पड़े. वर्तमान में खुली जेल में 13 बंदी हैं और इन्हें मजदूरी करने के लिए रोजाना बाहर भेजना पड़ता है. पंप करीब दो करोड़ रुपए की लागत से स्थापित होगा.

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