Bharatpur News: साइबर ठग सिर्फ अनपढ़ ही नहीं बल्कि पढ़े-लिखे लोगों को भी अपना शिकार बनाते हैं. इसका उदाहरण भरतपुर सीआईडी में हेड कांस्टेबल के पद पर कार्यरत जगदीश सिंह का मामला है. जालसाजों ने उन्हें बिजली बिल रिफंड का झांसा देकर एक लिंक के जरिए 10 हजार रुपए ठग लिए. पीड़ित ने ठगी की शिकायत 1930 नंबर पर की. आर साथ ही उन्होंने मथुरा गेट थाने में एफआईआर भी दर्ज कराई.
अनजान नंबर से आया था कॉल
सीआईडी हेड कांस्टेबल जगदीश सिंह ने जानकारी देते हुए बताया कि 18 जुलाई को उनके मोबाइल पर एक अनजान नंबर से कॉल आया. ट्रूकॉलर पर यह नंबर भरतपुर बिजली विभाग दिखा रहा था. बिजली विभाग का नाम होने के कारण उन्होंने फोन उठाया. दूसरी तरफ से कॉल करने वाले ने खुद को भरतपुर बिजली विभाग में कार्यरत बताया. बातचीत के दौरान उसने 4300 रुपए का बिजली बिल जमा करवाने की बात कही.
एक लिंक भेजकर की ठगी
उसकी बातों पर थोड़ा शक होने पर मैंने आरोपी से कहा कि वह हम हर बार ऐसे ही बिजली बिल जमा करता है. लेकिन आरोपी ने दूसरी बातें करते हुए कहा कि हमें इसकी जानकारी है. कभी आप तो कभी आपका बेटा बिल जमा करता है. साथ ही आरोपी ने पकड़े जाने के डर से मुझे विश्वास में लिया और कहा कि आप इसे फर्जी न समझें. और मुझसे कहा कि वह राजेंद्र नगर कॉलोनी का रहने वाला है. मैंने उसकी बातों पर विश्वास कर लिया. इसके बाद उसने कहा कि अगर उसे यकीन हो गया तो वह हमें एक लिंक भेजेगा. साथ ही उस पर क्लिक करने को कहा। साथ ही उसने मुझसे भविष्य में इस तरह की समस्या के बारे में किसी को न कहने की बात कही.
करीब 40 मिनट तक रहा मोबाइल हैक
इसके बाद ठग के जरिए मोबाइल पर लर्न माई सपोर्ट के नाम से एक लिंक भेजा गया. उस पर जैसे ही क्लिक किया थोड़ी देर बाद मोबाइल हैक हो गया और खाते से अपने आप 10 हजार रुपए की राशि निकलने का एसएमएस आया. यह देख में तुरंत परेशान हुआ, मैंने तुरंत फोन बंद कर सिम निकाल दिया लेकिन फिर भी करीब 40 मिनट तक मोबाइल हैक ही रहा. इससे मुझे लगा कि मेरे साथ ठगी हुई है मैंने तुरंत ही 1930 पर इसकी शिकायत की और मथुरा गेट पुलिस थाने में अज्ञात ठग के खिलाफ मामला दर्ज कराया.