RAS Mains 2024 Exam: 120 घंटों से भूख हड़ताल पर बैठे छात्र, 2 की और बिगड़ी तबियत, एग्जाम डेट स्थगित करने पर अड़े

RAS Exam News:राजस्थान यूनिवर्सिटी में लगातार 7 दिनों से चल रहा छात्रों का धरना पिछले 5 दिनों से भूख हड़ताल में बदल गया है जिसमें 5 छात्रों की तबीयत बिगड़ने के बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है.

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Hunger strike on ras candidate

Students hunger strike : राजस्थान में RAS मेन्स 2024 परीक्षा की तिथि आगे बढ़ाने की मांग को लेकर छात्रों का धरना राजस्थान विश्वविद्यालय के मुख्य द्वार पर लगातार 7 दिनों से जारी है.  जिसमें कल 3 छात्रों की तबीयत खराब होने के बाद उन्हें आनन-फानन में अस्पताल में भर्ती कराया जा रहा है.जहां डॉक्टरों की निगरानी में उनका इलाज किया जा रहा है. धरना आज (मंगलवार) भी जारी है.

धरने पर बैठे अब तक 5 अस्पताल में भर्ती

5 दिन से भूख हड़ताल पर बैठे 10 छात्रों में से कल (सोमवार) तीन छात्रों की तबीयत खराब हो गई थी. आज दो और छात्र बीमार हो गए, जिन्हें तुरंत एंबुलेंस के जरिए धरना स्थल से अस्पताल में भर्ती कराया गया.  इस तरह कुल 5 छात्र अब तक बीमार हो चुके हैं. इसी बीच ये बाक सामने आई है कि कल( सोमवार) आरएएस मेन्स 2024 परीक्षा स्थगित करने को लेकर छात्रों का एक प्रतिनिधिमंडल शाम को सीएम आवास पहुंचा था, जहां उन्होंने अपनी बातें रखीं. इसके बाद उन्हें इस मामले पर संज्ञान लेकर कार्रवाई करने का आश्वासन दिया गया है.

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सीएम आवास से आश्वासन मिला

सीएम आवास से आश्वासन लेकर लौटे छात्रों के प्रतिनिधिमंडल ने कहा कि वे सरकार को आज शाम तक का समय दे रहे हैं. अगर परीक्षा स्थगित नहीं की गई तो वे इसी तरह आमरण अनशन पर बैठे रहेंगे. वही भूख हड़ताल पर बैठे अगर किसी भी परीक्षार्थी की तबीयत खराब होती है तो इसके लिए सरकार खुद जिम्मेदार होगी क्योंकि अब तक 5 छात्र अस्पताल में भर्ती हो चुके हैं.

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क्या है अभ्यर्थियों की मांगे

RAS मुख्‍य परीक्षा 2024 का आयोजन 17-18 जून को होना न‍िर्धार‍ित है. अभ्यर्थियों का कहना है कि पिछली RAS परीक्षा का अंतिम परिणाम अभी तक नहीं आया है. इस कारण बड़ी संख्या में ऐसे अभ्यर्थी भी इस बार परीक्षा दे रहे हैं, जो पिछले परिणाम का इंतजार कर रहे हैं.

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इससे आशंका है कि कई विद्यार्थी दोनों परीक्षाओं में चयनित हो सकते हैं, जिससे कुछ अन्य विद्यार्थियों की सीट खराब हो सकती है, इसलिए उनकी प्रमुख मांग है कि परीक्षा की तारीख कम से कम 3 महीने आगे बढ़ाई जाए. इसके साथ ही, वे RPSC से एक वार्षिक परीक्षा कैलेंडर जारी करने की भी मांग कर रहे हैं ताकि भविष्य की परीक्षाओं को लेकर स्पष्टता रहे.

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