Rajasthan News: आगामी 22 जनवरी को अयोध्या में भगवान श्री राम के मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम को पूरे देश में हर्षोल्लास और उत्साह का माहौल है. भगवान श्री राम के प्राण प्रतिष्ठा समारोह को भव्य बनाने के लिए विश्व हिंदू परिषद व नरेंद्र मोदी के संकल्प के तहत हर घर दीप जले के मकसद से सीकर जिले में भी 22 जनवरी को शाम को दीपोउत्सव का आयोजन किया जाएगा. वही जगह-जगह सार्वजनिक रूप से बड़ी एलईडी लगाकर प्राण प्रतिष्ठा समारोह का लाइव प्रसारण भी आमजन को दिखाया जाएगा.
दीपोत्सव कार्यक्रम को लेकर शुक्रवार को सीकर सांसद सुमेधानंद सरस्वती, डॉ बी एल रणवां व भाजपा प्रवक्ता प्रकाश दाधीच मीडिया से रूबरू हुए. सीकर सांसद सुमेधानंद सरस्वती ने जानकारी देते हुए बताया कि आगामी 22 जनवरी को राम मंदिर में भगवान राम के प्राण प्रतिष्ठा समारोह को लेकर डॉ. बीएल रणवा की ओर से जिले भर में सवा लाख दीपक घर-घर वितरित किए जाएंगे और 22 जनवरी को सीकर शहर के रामलीला मैदान में बड़ी एलइडी लगाकर आमजन को प्राण प्रतिष्ठा समारोह का लाइव प्रसारण भी दिखाया जाएगा. इस दौरान लोगों को अयोध्या में बनने वाले राम मंदिर का चित्र और भगवान राम का कैलेंडर भी दिया जाएगा. सांसद ने कहा स्वच्छता का संदेश देने के लिए भी कार्यक्रम आयोजित किया जाएगा. इसके लिए जल्द ही पार्टी और संगठन की बैठक बुलाई जाएगी.
अमृत वर्षा में जो न भीगना चाहे उसका दुर्भाग्य है
कांग्रेस के प्राण प्रतिष्ठा समारोह में भाग नहीं लेने के निर्णय के सवाल पर सांसद सुमेधानंद सरस्वती ने कहा अगर बारिश हो रही है और कोई आदमी यह कहे मैं इसमें नहाने नहीं निकलूंगा तो इसमें बादलों का कोई दोस नहीं है. यह तो अमृत वर्षा हो रही है. अगर इसका आनंद कोई नहीं ले तो यह उसका दुर्भाग्य है और जो लेना चाहेगा वह उसका भाग्य है. सांसद ने भाजपा के राम मंदिर का ठेका लेने के कांग्रेस के सवाल पर तंज करते हुए कहा भगवान का ठेका ना किसने लिया है और ना ही कोई ले सकता है. भारतीय जनता पार्टी धार्मिक विचारों और आस्था की पार्टी है और भारतीय जनता पार्टी ने राम मंदिर निर्माण में भी अपनी अहम भूमिका निभाई है. भाजपा श्रद्धावान पार्टी है इसलिए श्रद्धा भाव से वहां जाएंगे अगर किसी में श्रद्धा नहीं है तो वह न जाए.
राम मंदिर को भाजपा की ओर से राजनीतिक मुद्दा बनाने के कांग्रेस के आरोप पर सांसद ने कहा सिर्फ कांग्रेस ही नहीं ऐसी कई विपक्षी पार्टी इसी विचारधारा की है. लेकिन दोस भाजपा पर देते हैं कि इन्होंने राम मंदिर का मुद्दा बनाया है. यह मुद्दा तो उन लोगों ने बनाया है जो इसमें आस्था नहीं रखते. सांसद ने कहा उन्होंने कोर्ट में फाइल व शपथ पत्र तक लगाए और कहा राम का अस्तित्व नहीं है, राम का महत्व नहीं है. रामेश्वरम पुल का कोई अस्तित्व नहीं है. लेकिन जब मुंह पर तमाचे लगते हैं और पुरातत्व विभाग ने प्रमाण दिए तो उनके पास कोई उत्तर नहीं थे. अब उनकी हालत खिसयानी बिल्ली खंबा नोचे जैसी हो रही है. अब वह फंस गए की राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा में जाए या नहीं जाए. लेकिन कहावत है कि इसका राम निकल गया. इसलिए जिसका राम निकल गया उसके लिए मैं कुछ नहीं कहूंगा. भाजपा के लोकसभा चुनाव में फायदा लेने के लिए राम मंदिर का जल्द आयोजन करने के सवाल पर सांसद ने कहा कि भाजपा ने कुछ नहीं किया है यह तो विद्वानों और साधु संतो ने विचार किया कि यही समय उपयुक्त है इसलिए यह आयोजन किया जा रहा है. प्रधानमंत्री तो सिर्फ भगवान श्री राम के सेवक बनाकर जा रहे हैं. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को प्राण प्रतिष्ठा के आयोजन में आमंत्रित किया गया है और उन्हें यह सौभाग्य मिला है.
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