Rajasthan: उदयपुर में छात्र से मुर्गा कटवाना श‍िक्षक को पड़ा महंगा, श‍िक्षा मंत्री द‍िलावर ने उठाया सख्‍त कदम 

Rajasthan: उदयपुर में सरकारी टीचर ने 26 अप्रैल को स्‍कूल में परीक्षा के दौरान एक छात्र से मुर्गा कटवा दिया. इस पर शिक्षा मंत्री मदन दिलावर ने सख्त कदम उठाया. 

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राजस्‍थान के श‍िक्षा मंत्री मदन दि‍लावर ने स्‍कूल में छात्र से मुर्गा कटवाने वाले टीचर को सस्‍पेंड कर द‍िया.

Rajasthan: राजस्थान के उदयपुर में राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय, सावन का क्यारा, ब्लॉक कोटड़ा के शिक्षक, लेवल-1 मोहनलाल डोडा को निलंबित कर दिया गया. उन पर आरोप है कि उन्होंने 26 अप्रैल 2025 को स्कूल में परीक्षा के दौरान एक छात्र से मुर्गा कटवाया. इसके अलावा, मोहनलाल पर यह भी आरोप है कि वे स्कूल में मिड-डे मील योजना का संचालन नियमित रूप से नहीं कर रहे थे, जिससे बच्चों के पोषण और शिक्षा के अधिकार पर विपरीत असर पड़ रहा था. इस घटना ने ना केवल स्कूल के माहौल को प्रभावित किया, बल्कि शिक्षा विभाग की छवि को भी धूमिल किया. 

ग्रामीणों ने मंत्री से श‍िकायत की थी  

छात्र से मुर्गा कटवाने का मामला सोशल मीडिया पर वायरल होते ही शिक्षक मुर्गा लेकर मौके से फरार हो गया था. इसकी जानकारी जब ग्रामीणों और स्थानीय जनप्रतिनिधियों को लगी, तो उन्होंने इस मामले को सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया और शिक्षक के खिलाफ कार्रवाई की मांग की. ग्रामीणों ने कैबिनेट मंत्री बाबूलाल खराड़ी और उदयपुर सांसद मन्नालाल रावत से भी शिकायत की. 

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एग्जाम के दौरान टीचर ने कटवाया मुर्गा

छात्र राहुल कुमार पारगी ने बताया था, "शनिवार को मेरा अंग्रेजी का पेपर चल रहा था. इसी दौरान गुरुजी कक्षा में आए और मुझे मुर्गा काटने के लिए कहा. वे मुझे अपने साथ ले गए और मैंने मुर्गा काटकर उन्हें दे दिया. " शनिवार को शिक्षक मोहनलाल डोडा विद्यालय परिसर के पास ही मुर्गा कटवाकर साफ करवा रहे थे, जबकि राहुल परीक्षा में शामिल था. इस दौरान स्थानीय लोगों ने छात्र का मुर्गा साफ करते हुए फोटो खींच ली और उसे सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया, जानकारी मिलते ही शिक्षक मुर्गा लेकर स्कूल से भाग गया.

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 अनुशासनहीनता बर्दाश्‍त नहीं क‍िया जाएगा 

शिक्षा मंत्री मदन दिलावर ने कहा,  "शिक्षा विभाग में अनुशासनहीनता और नैतिकता के खिलाफ किसी भी तरह की हरकत को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. शिक्षक समाज के लिए एक आदर्श होते हैं, और उनसे उच्च नैतिक मानकों की अपेक्षा की जाती है. ऐसे में, इस तरह की घटनाएं न केवल शिक्षा प्रणाली को कमजोर करती हैं, बल्कि समाज में गलत संदेश भी देती हैं. हमारी सरकार इस तरह की हरकतों के खिलाफ जीरो टॉलरेंस की नीति पर काम कर रही है."

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