छोटी बात थी, हंगामा नहीं होता यदि... , एकलिंग मंदिर और सिटी पैलेस में धूणी दर्शन के बाद बोले विश्वराज सिंह मेवाड़

महाराणा विश्वराज सिंह मेवाड़ के एकलिंगजी मंदिर और धूणी दर्शन के बाद उनके समर्थकों में जबरदस्त उत्साह दिखा. महेंद्र सिंह मेवाड़ के निधन के बाद विश्वराज सिंह मेवाड़ को गद्दी पर बैठाने की परंपरा निभाई गई है.

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एकलिंग मंदिर और सिटी पैलेस में धूणी दर्शन के बाद बोले विश्वराज सिंह मेवाड़

Udaipur News: दो दिन तक चले हंगामे के बाद उदयपुर राजघराने का विवाद आखिरकार बुधवार को थम गया है. राजतिलक के दो दिन बाद महाराणा विश्वराज सिंह मेवाड़ ने एकलिंग जी मंदिर और धूणी दर्शन किए. लंबे समय से प्रशासन की बातचीत के बाद उदयपुर सिटी पैलेस में पांच लोगों के साथ दर्शन करने पर सहमति बनी थी. महाराणा के धूणी दर्शन के बाद समर्थकों में जबरदस्त उत्साह दिखा और आतिशबाजी करके विश्वराज सिंह मेवाड़ का स्वागत किया. उधर विश्वराज सिंह मेवाड़ के धूणी दर्शन के बाद अब लक्ष्यराज सिंह मेवाड़ प्रेस कॉन्फ्रेंस करने जा रहे हैं. 

धूणी दर्शन की फोटो वायरल करने पर मनाही

5 लोगों के साथ मेवाड़ सिटी पैलेस में धूणी दर्शन करने के बाद विश्वराज सिंह मेवाड़ ने बातचीत करते हुए कहा कि छोटी सी बात थी, अगर यह शुरुआत में ही ऐसा हो जाता तो दो दिन इस प्रकार से माहौल नहीं होता. उन्होंने यह भी कहा कि प्रशासन की तरफ से कहा गया था कि अंदर से कोई फोटो वायरल नहीं किया जाए. इसी कारण से धूणी दर्शन करते हुए कोई फोटो नहीं है.

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उधर उदयपुर के पूर्व शाही परिवार के सदस्य लक्ष्यराज सिंह मेवाड़ ने कहा, 'जो हुआ वह दुर्भाग्यपूर्ण था. हमें उम्मीद है कि प्रशासन और सरकार सच्चाई के साथ खड़े होंगे और न्याय करेंगे. हम हमेशा अदालत का दरवाजा खटखटा सकते हैं. कानून को अपने हाथ में लेना और खुद को कानून से ऊपर समझना ठीक नहीं है."

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लक्ष्यराज सिंह मेवाड़ ने विवाद पर कहा कि हमने 40 साल पहले इसी तरह की स्थिति का सामना किया था. हम उनके अवैध दृष्टिकोण का कानून के संदर्भ में जवाब देंगे. उनके दावे झूठे हैं और सिटी पैलेस के अंदर का मंदिर सभी के लिए खुला है, बशर्ते वे जिम्मेदारी से आएं.

महेंद्र सिंह मेवाड़ के निधन के बाद विश्वराज सिंह का हुआ राजतिलक

मेवाड़ के पूर्व राजघराने के सदस्य महेंद्र सिंह मेवाड़ का 10 नवंबर को निधन हो गया था. महेंद्र सिंह के निधन के बाद उनके बेटे विश्वराज सिंह मेवाड़ को चित्तौड़गढ़ दुर्ग के फतह प्रकाश महल में गद्दी पर बैठाने की परंपरा निभाई गई. दस्तूर कार्यक्रम के बाद परंपरा के अनुसार, विश्वराज सिंह को उदयपुर सिटी पैलेस और एकलिंगजी मंदिर में दर्शन को जाना था, लेकिन उदयपुर सिटी पैलेस के बाहर भारी संख्या में पुलिस की मौजूदगी और बैरकेड्स के चलते विश्वराज सिंह मेवाड़ को प्रवेश की अनुमति नहीं मिली.

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धूणी दर्शन को लेकर हुई पत्थरबाजी

जिसके चलते दो दिन तक हंगामा चला और उदयपुर सिटी पैलेस के बाहर पहले दिन तो पत्थरबाजी की भी घटना सामने आई है. पत्थरबाजी के बाद बड़ी पोल से लेकर धूणी और जनाना महल तक के क्षेत्र के लिए कानून व्यवस्था बनाये रखने के लिए तुरंत रिसीवर नियुक्त किया गया. इसके साथ ही उदयपुर कलेक्‍टर अरव‍िंद पोसवाल ने मंगलवार (26 नवंबर) रात को शहर के घंटाघर और सूरजपोल थाना क्षेत्र में धारा 163 (पुरानी धारा 144) लगा दी.  

एकलिंगनाथजी मंदिर और उदयपुर सिटी पैलेस महाराणा मेवाड़ चैर‍िटेबल ट्रस्‍ट में शाम‍िल है. ट्रस्‍ट ने रव‍िवार (24 नवंबर) एक नोटिस जारी करके सिटी पैलेस और एकलिंगजी मंदिर में अनाध‍िकृत प्रवेश पर रोक लगा दी थी. उस समय कहा गया कि केवल अधिकृत व्यक्तियों को ही प्रवेश दिया जाएगा, अधिकृत व्यक्ति ही मंदिर में दर्शन कर पाएंगे. रैली, हंगामा या नारेबाजी करते हुए कोई प्रवेश करता है, तो उस पर सख्त कानूनी कार्रवाई की जाएगी. ध्यान देने वाली बात है कि इस ट्रस्ट का संचालन विश्वराज सिंह मेवाड़ के चाचा अरविंद सिंह मेवाड़ करते हैं. अरविंद सिंह मेवाड़, लक्ष्यराज सिंह के पिता और महेंद्र सिंह मेवाड़ के भाई हैं. 

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