Mahakumbh Mela 2025: महाकुंभ प्रयागराज में संगम की रेती पर ग्रीस की पेनेलोप ने सिद्धार्थ के साथ वैदिक रीति रिवाज से शादी की. जूना अखाड़े के महामंडलेश्वर स्वामी यतींद्रानंद गिरि ने कन्यादान की रस्म अदा की. साधु-संत बाराती बने. गंगा-यमुना और अदृश्य सरस्वती साक्षी बनीं. पिनेलोपी एथेंस में एक विश्वविद्यालय से टूरिज्म मैनेजमेंट से स्नातक हैं. योग की तरफ उनका रुझान बढ़ा. उन्होंने स्थानीय जिम में योग की ट्रेनिंग लेना शुरू किया. इसके बाद वो योग सीखने थाईलैंड चली गईं. ग्रीस वापस आने के बाद लोगों को योग और ध्यान के बारे में बताने लगीं.
पिनेलोपी की मुलाकात इंडिया के सिद्धार्थ से हुई
पिनेलोप की मुलाकात सिद्धार्थ से हुई तो दोनों में दोस्ती हो गई. दोनों की दोस्ती कब प्यार में बदल गई पता ही नहीं चला. एक साल पहले दोनों की मुलाकात जूना अखाड़े के वरिष्ठ महामंडलेश्वर स्वामी यतींद्रानंद गिरि से हुई. अध्यात्म की तरफ झुकाव हो गया.
यतींद्रानंद के शिविर में हुई शादी
पिनेलोप ने स्वामी यतींद्रानंद से दीक्षा ले ली. महाकुंभ के बारे में जानकारी होने पर दोनों यहां गईं. पिनेलोप और सिद्धार्थ ने स्वामी यतींद्रानंद से शादी करने की इजाजत मांगी. स्वामी यतींद्रानंद की अनुमति मिलने के बाद दोनों ने शादी करने फैसला महाकुंभ में ही कर लिया. वैदिक रीति-रिवाज से शादी हुई.
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