अंतिम सांसें गिन रही पृथ्वीराज चौहान के समय बनी अजमेर की आनासागर झील, जानें दुर्दशा की वजह

अजमेर की आनासागर झील (Anasagar Lake) में ऑक्सीजन का स्तर कम होने लगा है. जलकुंभी का भी इस झील में जमावड़ा हो गया है. हालत यह है कि मरम्मत न होने के कारण इस झील के आसपास लगी रेलिंग टूटने से झील में लोगों के गिरने का खतरा बना हुआ है. 

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अजमेर की आनासागर झील.
AJMER:

NDTV Rajasthan Ground Report Anasagar Jheel: अजमेर की हृदयस्थली आनासागर झील का निर्माण 'राजा अरणो रा आनाजी' ने साल 1135 से 1150 के बीच करवाया था. 'राजा अरणो रा आनाजी' सम्राट पृथ्वीराज चौहान के पिता थे. अजमेर की हृदय स्थली कही जाने वाली ऐतिहासिक 'आनासागर झील' (Anasagar Jheel ) इन दिनों अपनी दुर्दशा के आंसू रो रही है. आनासागर झील, आनासागर झील या आणा सागर झील अजमेर में स्थित एक कृत्रिम (लोगों द्वारा बनाई गई) झील है.

आना सागर झील में सीवरेज का गंदा पानी छोड़े जाने के कारण यह झील अब अपनी अंतिम साँसे गिन रही है. इस झील में बढ़ती जलकुंभी, चूहों के आतंक के साथ गंदगी और बदबू फ़ैल रही है. आज के समय में झील का आलम यह है कि अब इस झील की मछलियों की मौत भी धीरे-धीरे होने लगी है. जिस कारण इस झील के 8 किलोमीटर की परिधि में बसे लोगों का जीना बेहाल हो चुका है.

इस बार भी नहीं आए विदेशी पक्षी

वन्य पक्षियों की जानकारी रखने वालों ने बताया कि आनासागर झील में फैल रही जलकुंभी और गंदगी के कारण इस बार भी विदेशी पक्षी इस झील में नहीं आए. वहीं झील में (BOD-बायोलॉजिकल ऑक्सीजन डिमांड के कारण) लगातार मछलियों का मरना जारी है.

आना सागर झील की टूटी हुई रेलिंग

प्राचीन समय में ऐसा होता था कि झील और नदियों के पास शहर के सबसे अमीर और समृद्ध लोग बसते थे, मगर आज इन झीलों के बिगड़ते स्वास्थ के कारण अब यहां शहर के सबसे गरीब लोग रह रहें हैं. वहीं प्रशासन की नजरअंदाजगी के कारण यह लोग अपने हाल पर जीने को मजबूर हैं. 

प्रशासनिक सुस्ती का शिकार

अपनी खूबसूरती के लिए जानी जाने वाली ऐतिहासिक आना सागर झील अब लोगों के लिए मुसीबत बनी हुई है. उसके पीछे नगर निगम की लापरवाही और प्रशासनिक सुस्ती नजर आ रही है. अजमेर की ऐतिहासिक आना सागर झील प्रशासनिक व नगर निगम की लापरवाही के चलते दुर्दशा का शिकार बनी हुई है.

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स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के तहत लाखों रुपया खर्च करने के बाद भी हाल बद से बदतर नजर आ रहे हैं.

फेल है स्मार्ट सिटी मिशन 

आनासागर झील में फैल रही जलकुंभी और गंदगी के कारण लोगों का बुरा हाल है.

अजमेर आनासागर झील के अलग-अलग तट पर मरी हुई मछलियों का झुंड देखने को मिल रहा है. इसे लेकर आसपास के लोग भी परेशान हैं. लगातार सड़ांध और बदबू से आनासागर झील के पास चलना और बैठना भी दूभर होता नजर आ रहा है. आनासागर झील के आसपास स्मार्ट सिटी व अन्य माध्यम से करोड़ों के विकास कार्य करवाए जा रहे हैं, लेकिन इस झील के पानी और गंदगी को लेकर कोई ठोस कदम नहीं उठाए जा रहे हैं.

रोजगार में आई कमी 

ऐसे में जिला प्रशासन के साथ ही नगर निगम को भी इस ऐतिहासिक आना सागर झील की सफाई को लेकर कार्रवाई करनी चाहिए. जिससे यहां आने वाले पर्यटक आनासागर झील का आनंद ले सकें. आनासागर झील के आस-पास देर शाम को पहले बड़ी संख्या में आस-पास के लोग पहुंचते थे. साथ ही यहां ठेले भी बड़ी संख्या में लगाए जाते थे. जिससे लोगों को रोजगार मिलता था. लेकिन बदबू और गंदगी के चलते माहौल में लगातार परिवर्तन हो रहा है. और लोगों का रोजगार भी छीन रहा है.

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