भीलवाड़ा में द‍िखा 5 फीट चौड़े पंख वाला चमगादड़, 2 क‍िलोग्राम वजन; देखने में डरावना - देखिए Video

भारतीय उपमहाद्वीप में ऐसा चमगादड़ पाया जाता है, लेकिन यह इंसानों के लिए खतरनाक नहीं है.

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भीलवाड़ा में 5 फीट चौड़े पंख वाला चमगादड़ मिला.

भीलवाड़ा के शाहपुरा क्षेत्र के सुरली कल्याणपुरा गांव में 5 फुट चौड़ा और लगभग 3 फीट लंबा चमगादड़ दिखाई देने से क्षेत्र के लोगों में दहशत फैल गई. मंगलवार रात को वन विभाग की टीम भी शाहपुरा क्षेत्र की सुरली कल्याणपुरा गांव पहुंची. उस दौरान यह चमगादड़ दिखाई दिया. लेकिन बुधवार सुबह वन विभाग की टीम चमगादड़ दिखाई देने वाले स्थान पर वापस पहुंची तो वह चमगादड़ दिखाई नहीं दिया.

डरावनी आंखें और नुकीले दांत 

इस क्षेत्र में ऐसा चमगादड़ पहली बार देखा है. डरावनी आंखें, मुंह खोलने पर नुकीले दांत, तीखे कान और पंखों जैसे नुकीले पंजे वाले चमगादड़ को देखकर अपने आप को डरा सा महसूस कर रहे हैं. भीलवाड़ा वन विभाग के डीएफओ गौरव गर्ग ने कहा कि इससे डरने की जरूरत नहीं है, यह हिंसक जीव नहीं है.

देखिए Video:-

दो-दो फीट पंख खुल जाते हैं 

भीलवाड़ा वन विभाग के डीएफओ गौरव गर्ग ने कहा कि भीलवाड़ा जिले के शाहपुरा क्षेत्र में फ्लाइंग फॉक्स यानी चमगादड़ मिला है. इस तरह के चमगादड़ भारतीय उपमहाद्वीप में पाए जाते हैं, शाहपुरा क्षेत्र में मिले चमगादड़ का वजन डेढ़ से 2 किलोग्राम के करीब है. जब यह उड़ता है, तो उनके दोनों तरफ 2-2 फीट के पंख खुल जाते हैं, जिससे लोगों को डरावना महसूस होता है. अक्सर चमगादड़ को दिन में दिखता कम है, और रात में ही दिखाई देता है, इसीलिए रात में विचरण करता है.

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चमगादड़ के मुंह से चिक निकलता है

रात के समय आकाश में बड़े-बड़े फाइटर जेट, जैसे राफेल इत्यादि जिस तकनीकी से उड़ते हैं. दुश्मन पर सटीक वार करते हैं. उस तकनीकी की प्रेरणा भी चमगादड़ से मिली थी. चमगादड़ के मुंह से चिक निकलता है, जो अपने आप में देखने में डरावना लगता है. लेकिन चमगादड़ का मानव जीवन पर कोई खतरा नहीं है. यह फूलों का रस और फ्रूट खाता है, जिससे किसानों को फलों और फूलों की खेती में परागण की प्रक्रिया में सफलता मिलती है.

वायरस एक जगह से दूसरी जगह फैल जाता है

जब कभी चमगादड़ को कोई बीमारी हो जाती है, तो वायरस फैलने का जरूर डर रहता है. वायरस एक जगह से दूसरी जगह फैल जाता है. विश्व में चमगादड़ से प्रेरणा लेकर पांडूपियां, रडार सिस्टम, सोनार और मेडिकल में हार्ट के ईको जैसी विभिन्न तकनीकी में भी सफलता मिली है. चमगादड़ को अंग्रेजी फिल्मों में खून पीने वाला बताया है, जबकि आज तक ऐसा कोई मामला हमारे संज्ञान में नहीं आया है. यह हकीकत में बिल्कुल डरावना नहीं है. भीलवाड़ा डीएफओ ने आमजन से अपील करते हुए कहा कि चमगादड़ से डरे नहीं यह हिंसक नहीं है.

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