ड्रग्स तस्करी का बड़ा नेटवर्क चलाने वाला कैदी 6 साल बाद गिरफ्तार, 50 हजार का घोषित था इनाम

इनामी आरोपी झारखंड से मादक पदार्थों की तस्करी का एक बड़ा नेटवर्क चला रहा था. पुलिस ने ऑपरेशन ओल्ड मोक के तहत उसे नेपाल बॉर्डर से गिरफ्तार किया, जहां वह अपनी पहचान बदलकर रह रहा था.

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इनामी कैदी बिरमाराम गिरफ्तार

Rajasthan News: जोधपुर रेंज की साइक्लोनर टीम ने एक बार फिर एक बड़ी सफलता हासिल करते हुए पिछले 6 सालों से पैरोल पर फरार चल रहे एक शातिर आरोपी बिरमाराम को गिरफ्तार करने में सफलता हासिल की है. आरोपी पर  50 हजार का इनाम घोषित किया हुआ था. बाड़मेर निवासी आरोपी को ऑपरेशन ओल्ड मोक के तहत आईजी विकास के नेतृत्व में टीम ने पकड़ने में सफलता हासिल की है. हत्या के आरोप में आजीवन कारावास की सजा काट रहे इस आरोपी को 2018 में पैरोल मिली थी. उसके बाद से ही वह फरार हो गया था और झारखंड में रहकर मादक पदार्थ की तस्करी का एक बड़ा नेटवर्क चला रहा था.

हत्या के आरोप में हुई थी सजा

जोधपुर रेंज आईजी विकास कुमार ने बताया कि पिछले लंबे समय से झारखंड से मादक पदार्थों की तस्करी की जानकारी मिल रही थी, जिस पर साइक्लोनर टीम ने काम शुरू किया. शुरुआत में कुछ तकनीकी सबूत के आधार पर जांच शुरू की गई और एक बैंकिंग लेनदेन से टीम को आरोपी का सुराग मिला. आईजी ने बताया कि बिरमाराम 2010 में हत्या के आरोप में गिरफ्तार हुआ और आजीवन कारावास की सजा हुई.

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2018 में बिरमाराम को पैरोल मिली और उसके बाद वह राजस्थान से फरार होकर झारखंड के रांची में शिफ्ट हो गया. वहां से मादक पदार्थों की तस्करी का एक बड़ा नेटवर्क संचालित कर रहा था. बिरमाराम में अपनी पहचान बदल ली और जगाराम बनकर रह रहा था. फर्जी आधारकार्ड बनवाने के साथ ही एक सिम को एक बार उपयोग करके फेंक देता. जिससे उसका पता लगाना काफी मुश्किल था.

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पुलिस ने कसा शिकंजा तो नेपाल बॉर्डर पर भागा

आई जी विकास कुमार ने बताया कि पुलिस ने जब शिकंजा कसना शुरू किया तो वह झारखंड से बिहार चला गया. बिहार से नेपाल बॉर्डर भाग गया. पुलिस की टीम कई दिन तक नेपाल बॉर्डर पर तैनात रही. उसके बाद नेपाल बॉर्डर के किसी होटल में रुकने की जानकारी मिली, जिस पर साइक्लोनर टीम के 4 जवान ने सभी होटलों को खंगाला तो पुष्टि हुई. पुलिस ने उस होटल में कमरा किराए पर लिया और उसके बाद जब होटल की डॉरमेट्री में पहुंचे तो वहां बिरमाराम सो रहा था.

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प्रारंभिक पूछताछ में उसने अपना नाम जगाराम ने बताया लेकिन थोड़ी सी सख्ती के बाद उसने अपनी सही पहचान बता दी. आईजी विकास कुमार ने बताया कि आरोपी पूछताछ में रोज नए राज उगल रहा है. पुलिस कई महत्वपूर्ण जानकारियां मिली हैं. अब पुलिस पूरे नेटवर्क को खंगालने में लगी हुई है.

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