Madan Dilawar Ajmer Visit: राजस्थान के शिक्षा राज्य मंत्री मदन दिलावर शनिवार को एक दिवसीय दौरे पर अजमेर पहुंचे. निजी स्कूल के कार्यक्रम में शामिल होने से पहले वे सर्किट हाउस पहुंचे. बीजेपी कार्यकर्ताओं और पदाधिकारियों ने राजस्थानी परंपरा के अनुसार माला और साफा पहनाकर उनका स्वागत किया. उन्होंने बताया कि राजस्थान के सभी सरकारी विद्यालयों में जल्द ही एक दिन ऐसा तय किया जाएगा, जिस दिन विद्यार्थी यूनिफॉर्म की जगह पारंपरिक वेशभूषा या स्थानीय कपड़ों में स्कूल आएंगे. यह आदेश शिक्षा विभाग को जारी कर दिया गया है. इसका उद्देश्य छात्रों में स्थानीय संस्कृति व परंपरा के प्रति रुचि बढ़ाना है.
धर्मांतरण कानून पर दिलावर सख्त
धर्मांतरण कानून को लेकर दिलावर ने राजस्थान के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा को बधाई दी और कहा कि राज्य ने देश का सबसे सशक्त कानून लागू किया है. विधानसभा में पारित इस बिल को राज्यपाल ने मंजूरी दे दी है. दिलावर ने बताया, "यदि कोई व्यक्ति धर्मांतरण गतिविधि में शामिल पाया जाता है और आरोप सिद्ध हो जाते हैं तो उसे आजीवन कारावास और 50 लाख रुपए तक जुर्माने का प्रावधान है.
इतना ही नहीं, जिस भवन या स्थल का उपयोग धर्मांतरण के लिए किया गया होगा, उस पर बुलडोजर कार्रवाई भी की जा सकेगी." उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस पहले भी धर्मांतरण कराने वालों के साथ थी और आज भी इसी मानसिकता पर चल रही है. दिलावर ने कहा कि अब ऐसे लोगों को सीधा काल कोठरी में डाला जाएगा.
SIR मामले में कांग्रेस पर पलटवार- चोर की दाढ़ी में तिनका
कांग्रेस की ओर से SIR पर लगातार शिक्षा मंत्री ने कांग्रेस को आड़े हाथों लिया. दिलावर ने कहा कि यह प्रक्रिया बेहद जरूरी है, ताकि बोगस, गलत और एक से अधिक जगह वोटिंग करने वाले नाम हटाए जा सकें. मृत लोगों के नाम भी हटना आवश्यक है, ताकि चुनाव शुचिता के साथ संपन्न हों. उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस इसलिए हल्ला कर रही है, क्योंकि संभवतः उन्होंने बांग्लादेशी और पाकिस्तानी घुसपैठियों के नाम मतदाता सूची में जोड़वाए होंगे.
दिलावर ने कहा कि कांग्रेस की दाढ़ी में तिनका है, इसलिए घबराहट हो रही है. क्योंकि चोर की दाढ़ी में ही तिनका होता है. SIR से चुनाव प्रक्रिया पारदर्शी होगी और हर फर्जी वोटर का नाम सूची से बाहर होगा. साथ ही बीएलओ से से आग्रह किया कि इस कार्य को तनाव में आकर न करें, बल्कि शांति से पूरा करें. यह कोई साल भर का काम नहीं, बल्कि मुश्किल से एक से डेढ़ महीने की प्रक्रिया है.
मयूर स्कूल मारपीट मामले की होगी निष्पक्ष जांच
उन्होंने अजमेर के मयूर स्कूल में छात्र के साथ मारपीट मामले में निष्पक्ष जांच का भी भरोसा दिया. शिक्षा मंत्री ने कहा कि जो भी आरोप सिद्ध होंगे, उनके खिलाफ कठोर कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी. स्कूल प्रशासन को स्पष्ट संदेश देते हुए कि किसी भी शैक्षणिक संस्था में इस प्रकार की घटनाएं स्वीकार्य नहीं हैं.
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