गहलोत सरकार में 2 बार बजट बनाने वाले पूर्व चीफ सेक्रेटरी ने बताया इस बार के बजट में क्या-क्या होना चाहिए 

भजनलाल सरकार के पहले पूर्णकालिक बजट को लेकर पूर्व मुख्य सचिव ने जोधपुर में कई बड़ी बातें कही. गहलोत सरकार में यह राज्य बजट CS और ACS के तौर पर तैयार कर चुके है. 

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Rajasthan News: राजस्थान सरकार के पूर्व मुख्य सचिव और प्रदेश की तत्कालीन अशोक गहलोत सरकार की ब्यूरोक्रेसी में कई मुख्य पदों का दायित्व संभालने वाले पूर्व आईएएस अधिकारी निरंजन आर्य शुक्रवार को जोधपुर दौरे पर रहें. इस दौरान उन्होंने स्काउट गाइड की गतिविधियों के अवलोकन करने के साथ ही कई सामाजिक और निजी कार्यक्रमों में भी शिरकत की. मुख्य सचिव के पद से सेवानिवृत होने के बाद से लगातार कांग्रेस पार्टी में सक्रिय रहने वाले निरंजन आर्य इन दिनों पार्टी गतिविधियों में भी काफी एक्टिव नजर आ रहे हैं.

निरंजन आर्य की बजट से पहले आई प्रतिक्रिया

इससे पहले गहलोत सरकार में मुख्य सचिव और उससे पहले अतिरिक्त मुख्य सचिव (वित्त) के रूप में भी निरंजन आर्य ने प्रदेश के बजट को तैयार करने में मुख्य भूमिका निभा चुके हैं. जहां इस बार 10 जुलाई को पेश हो रहे प्रदेश की भजनलाल सरकार के पहले पूर्णकालिक बजट से पहले पूर्व चीफ सेक्रेट्री निरंजन आर्य ने अपने जोधपुर दौरे के दौरान प्रदेश में पेश होने वाले बजट को लेकर अपनी कड़ी प्रतिक्रिया दी है. निरंजन आर्य ने कहा कि इस बजट में राज्य की प्राथमिकताओं को अहम स्थान मिलना चाहिए और राजस्थान की जो वर्षों से लंबित 4-5 बड़ी समस्याए हैं, उनको ठीक करना चाहिए.

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राजस्थान की जनता के लिए अच्छा बजट पेश करना चाहिए. राजस्थान में इस बार के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस के बेहतर प्रदर्शन के बाद लगातार निरंजन आर्य की कांग्रेस पार्टी में बढ़ी सक्रियता व आगे कोई बडी भूमिका की संभावना से जुड़े सवाल का जवाब देते हुए आर्य ने कहा कि संगठन के द्वारा जो मुझे कार्य मिलता है उसे प्राथमिकता के साथ करता हूं यह भी सही है इस बार विधानसभा का चुनाव भी लड़ा और आगे पार्टी जो दायित्व व कार्य देगी उसे करेंगे.

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2 बार बजट तैयार करने में निभा चुके हैं भूमिका

बता दें की पूर्व मुख्य सचिव निरंजन आर्य तत्कालीन गहलोत सरकार में 2 बार बजट तैयार करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा चुके हैं. जहां मुख्य सचिव से पूर्व वह अतिरिक्त मुख्य सचिव वित्त के रूप में भी राज्य सरकार में जिम्मेदारी संभाल चुके हैं वहीं इससे पूर्वी ब्यूरोक्रेट्स में महत्वपूर्ण पदों पर रहे हैं. अशोक गहलोत के सबसे गरीबी अधिकारियों में एक रहने के बाद बतौर चीफ सेक्रेटरी के पद से सेवानिवृत्ति पश्चात कांग्रेस पार्टी में एक्टिव  है और वर्ष 2018 के विधानसभा चुनाव में भी पाली के सोजत विधानसभा सीट से कांग्रेस प्रत्याशी के तौर पर चुनाव लड़ा था.

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