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Rajasthan: झालावाड़ में भावुक हुईं पूर्व CM वसुंधरा राजे, बोलीं- हमें कुछ नहीं चाहिए, बस आपका प्यार मिलता रहे

वसुंधरा राजे ने कहा कि राजमाता विजया राजे सिंधिया ने पद की लालसा कभी अपने मन में नहीं रखी. जब पार्टी उन्हें राष्ट्रीय अध्यक्ष बनना चाहती थी तब उन्होंने अपने गुरु की इच्छा के बिना पार्टी का अध्यक्ष बनना होना मुनासिब नहीं समझा और गुरु के इनकार करने पर हंसते हुए पद से दूर बने रहने का मन बना लिया.

Rajasthan: झालावाड़ में भावुक हुईं पूर्व CM वसुंधरा राजे, बोलीं- हमें कुछ नहीं चाहिए, बस आपका प्यार मिलता रहे
रजस्थान की पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे

Jhalawar News: झालावाड़ के राजमाता विजया राजे सिंधिया खेल संकुल में राजमाता की प्रतिमा का अनावरण कार्यक्रम संपन्न हुआ, जिसमें मुख्य अतिथि के तौर पर पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे सिंधिया शामिल हुई. उनके साथ उनके सांसद पुत्र दुष्यंत सिंह भी इस अवसर पर मौजूद रहे. इस अवसर पर मंच से बोलते हुए राजे कई बार भावुक होती नजर आईं. उन्होंने राजमाता को याद करते हुए कई संस्मरण भी इस मौके पर सुनाए तथा झालावाड़ के भाजपा कार्यकर्ताओं एवं जनता को मूर्ति की स्थापना करने पर धन्यवाद व्यापित किया.

वसुंधरा राजे ने कहा कि राजमाता विजया राजे सिंधिया ने पद की लालसा कभी अपने मन में नहीं रखी. जब पार्टी उन्हें राष्ट्रीय अध्यक्ष बनना चाहती थी तब उन्होंने अपने गुरु की इच्छा के बिना पार्टी का अध्यक्ष बनना होना मुनासिब नहीं समझा और गुरु के इनकार करने पर हंसते हुए पद से दूर बने रहने का मन बना लिया.

अटल-आडवाणी आए तो खोली आंखें

राजे ने कहा कि राजमाता सिंधिया के अंतिम समय में वो आंखें नहीं खोल रही थी, ऐसे में जब भाजपा की सरकार बनी और अटल बिहारी बाजपेई और लालकृष्ण आडवाणी उनसे मिलने आए और अटल जी ने राजमाता के करीब जाकर कहा कि राजमाता में अटल बिहारी और मेरे साथ लालकृष्ण आडवाणी हम दोनों आए हैं और हम चुनाव जीत गए हैं और सरकार हमारी बन रही है.

राजे ने बताया कि इतना सुनने के बाद राजमाता ने बीमारी के दौरान पहली बार अपनी आंखें खोली और कहा कि अपने जीवन के दौरान यह दिन देखना उनका सपना था जो आज पूरा हो गया.

झालावाड़ से उनका 36 साल पुराना नाता है-राजे 

उन्होंने कहा कि झालावाड़ उनका परिवार है तथा यहां की जनता ने उन्हें और दुष्यंत को खूब प्यार दिया है. झालावाड़ से उनका 36 साल पुराना नाता है तथा दुष्यंत सिंह को भी दो दशक से अधिक समय से यहां के लोगों ने प्यार दुलार और सत्कार दिया है.

राजे ने उनके कार्यकाल के दौरान हुए विकास कार्यों को याद दिलाते हुए आगे भी निरंतर इलाके में काम करते रहने की बात कही. और कहा कि राजमाता ने उनको सिखाया है कि सबको साथ लेकर ही आगे बढ़ना है.

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