Rajasthan: जैसलमेर में भाई बहन बने बेसहारा हिरण के बच्चे का सहारा, गाय का दूध पिलाकर पाला

Rajasthan News: जैसलमेर में एक भाई-बहन ने बहुत छोटी सी उम्र में ही इंसानियत की अनूठी मिसाल पेश की है. उन्होंने एक हिरण को छोटे भाई की तरह प्यार कर पाला.

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परिवार के साथ हिरण का बच्चा

Jaisalmer: राजस्थान के जैसलमेर जिले में एक भाई-बहन ने बहुत छोटी सी उम्र में ही इंसानियत की अनूठी मिसाल पेश की है. उन्होंने एक हिरण को छोटे भाई की तरह प्यार कर पाला. यह घटना जिले के लाठी वन विभाग क्षेत्र के देगराय ओरणा के पास नया रासला गांव के पीराणे खा की ढाणी के एक परिवार की है. जमालदीन के बेटे नजीर (7) और बेटी नजीरा (5) ने हिरण के बच्चे को 5 महीने तक गाय का दूध पिलाकर पाला.

भाई बहन पिलाते है गाय का दूध

परिजनों ने बताया कि नया रासला गांव के पास 5 महीने पहले एक मादा हिरण ने बच्चे को जन्म दिया था. जन्म देने के कुछ दिन बाद ही मादा हिरण को कुत्तों ने मार डाला था. नजीर और नजीरा बच्चे को बचाने के लिए उसे अपने घर ले आए. तब से वे उसे अपने छोटे भाई की तरह प्यार करते हैं और गाय का दूध पिलाकर पाल रहे हैं.

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हिरण के बच्चे का नाम रखा  'मुस्कान'

हिरन का बच्चा अब पांच महीने का हो चुका है और अब पूरी तरह स्वस्थ है और चलने-फिरने लगा है. भाई-बहन ने हिरन के बच्चे का नाम 'मुस्कान' रखा है। हिरन का बच्चा अपने परिवार से बहुत जुड़ा हुआ है. वह दिनभर परिवार के आसपास ही रहता है. थोड़ी दूर जाने पर जैसे ही परिवार के सदस्य उसे नाम से पुकारते हैं, वह दौड़कर उनके पास चला आता है.

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 5 दिन बाद ही मां की हो गई थी मौत

वन्यजीव प्रेमी सुमेरसिंह भाटी ने बताया कि इंसान और जानवरों के बीच यह पारिवारिक रिश्ता इसलिए खास है, क्योंकि हिरण ऐसा जानवर है, जो इंसान की आहट सुनते ही भाग जाता है. लेकिन जन्म के करीब 5 दिन बाद ही हिरण के बच्चे की मां उससे बिछड़ गई.  इसके बाद भाई-बहन नजीर और नजीरा ने उसका पालन-पोषण किया. स्वस्थ होने पर फिलहाल परिवार ने उसे वन विभाग को सौंप दिया. नया रासला गांव निवासी जमालदीन ने बताया कि हिरण का बच्चा इतना चंचल है कि कुछ ही दिनों में वह सभी से परिचित हो गया और उसका डर खत्म हो गया. वह बच्चों से लेकर बड़ों तक सभी के हाथों से दूध पीता है.

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