NDTV Rajasthan Conclave Bikaner on Renewable Energy: राजस्थान में विधानसभा चुनाव से पहले मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने 2030 तक प्रदेश को अग्रणी राज्य बनाने के लिए राजस्थान मिशन 2030 शुरू किया है. इस मिशन के तहत प्रदेश भर से करोड़ों सुझाव लिए गए. इन सुझावों के आधार पर सरकार अपनी आगामी नीतियां तय करेगी. गहलोत सरकार की इस महत्वकांक्षी स्कीम पर एनडीटीवी राजस्थान प्रदेश के अलग-अलग जिलों में कॉन्क्लेव का आयोजन कर रही है. जिसमें सरकार के मंत्री के साथ-साथ अलग-अलग विषय के एक्सपर्ट शामिल हो रहे हैं. शनिवार को बीकानेर के लक्ष्मी निवास होटल में एनडीटी राजस्थान कॉन्क्लेव के पहले सत्र में सोलर एनर्जी पर एक्सपर्ट से बातचीत की गई.
पहले सत्र में एनडीटीवी की ओर से हर्षा कुमारी सिंह ने एक्सपर्ट से सवाल-जवाब किए. पहले सेशन के एक्सपर्ट लिस्ट में राजस्थान सोलर एसोसिएशन के अध्यक्ष सुनील कुमार, ACME क्लीन टेक सॉल्यूशंस प्रोजेक्ट के वाइस प्रेसिडेंट इंद्रजीत सिंह, फलोदी में 'बाप' नामक क्षेत्र के पूर्व सरपंच पहाड़ सिंह और एक अन्य किसान अतिथि के रूप में मंच पर मौजूद रहे.
इस सेशन में सोलर एनर्जी के लिए अलग से मंत्रालय और कॉरिडोर बनाए जाने की मांग की गई. मालूम हो कि राजस्थान इस समय पूरे देश में सोलर एनर्जी में नंबर वन पर है. 2030 तक सोलर एनर्जी के उत्पादन को और बढ़ाने का लक्ष्य रखा गया है. जिसपर एक्सपर्ट ने अपनी-अपनी राय दी.
NDTV Rajasthan Conclave बीकानेर में शुक्रवार को उर्जा मंत्री भंवर सिंह भाटी ने कहा था कि 2030 तक देश का 20% सोलर उर्जा राजस्थान से उत्पादित होगा. आज उनकी बातों पर इस क्षेत्र में काम करने वाले अलग-अलग एक्सपर्टों से बातचीत की गई.
राजस्थान सोलर एसोसिएशन के अध्यक्ष सुनील कुमार ने बताया कि अभी तक राजस्थान में 18 हजार मेगावाट सोलर एनर्जी प्रोजेक्ट में करीब एक लाख करोड़ का निवेश हो चुका है. 2030 तक हमारा लक्ष्य इस 18 हजार मेगावाट को बढ़ाकर एक लाख मेगावाट करना है. इसमें पांच लाख करोड़ का निवेश होगा.
राजस्थान सोलर एसोसिएशन के अध्यक्ष सुनील कुमार ने सोलर एनर्जी के बिग प्लेयर्स के बारे में बताया कि अडानी, रिन्यू पावर, एडन एनर्जी, एनजी, किंग्समेक, एम पल्स जैसी कंपनियां इसमें शामिल हैं. उन्होंने बताया कि इसमें ज्यादातर कंपनियां विदेशी है.
सोलर एनर्जी की नीतियों पर एक्सपर्ट ने कहा कि नीति कम से कम 7-10 साल तक के लिए होनी चाहिए. अभी 2030 की चर्चा हो रही है लेकिन 2050 तक के लिए भी कार्ययोजना बनाई जा रही है. अभी सोलर एनर्जी एक एरिया में तैयार किया जा रहा है. लेकिन हर जिले में सोलर एनर्जी का प्लांट लगाई जाने चाहिए.
राजस्थान सोलर एसोसिएशन के अध्यक्ष सुनील कुमार ने प्रदेश में अक्षय उर्जा के लिए अलग से मंत्रालय की मांग की. सरपंच पहाड़ सिंह ने किसानों को लेकर बताया कि अभी सोलर एनर्जी के लिए 25 हजार प्रति एकड़ मिल रहा है. लेकिन एससी एसटी की जमीन कंपनी नहीं ले पाती है. सरकार को ऐसी नीति बनानी चाहिए कि एससी-एसटी किसानों की जमीन भी सरकार ले सके. उन्होंने सोलर एनर्जी के लिए कॉरिडोर की मांग भी की. ताकि एक ही कॉरिडोर से चार-पांच कंपनियां अपने सोलर एनर्जी की आवाजाही कर सके. ताकि कम से कम किसानों से जमीन लेकर सोलर एनर्जी को एक से दूसरी जगह तक ले जाया सके.
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