Gangnahar Rajasthan: राजस्थान में अब हर साल मानसून में पाकिस्तान की तरफ बहने वाले अतिरिक्त पानी को रोककर राजस्थान के किसानों के खेतों तक पहुंचाया जाएगा. मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा और पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान के बीच बुधवार को फोन पर हुई बातचीत के बाद फिरोजपुर फीडर पुनर्निर्माण परियोजना को लेकर बड़ा रास्ता साफ हुआ है. इस बातचीत के बाद परियोजना के शीघ्र शुरू होने की संभावना मजबूत हो गई है.
गंगनहर प्रणाली को सशक्त बनाने के लिए यह कार्य उत्तर-पश्चिमी राजस्थान, विशेषकर श्रीगंगानगर और हनुमानगढ़ के किसानों के लिए बेहद अहम माना जा रहा है. पुनर्निर्माण से फिरोजपुर फीडर की वर्तमान क्षमता 11,192 क्यूसेक से बढ़कर 13,842 क्यूसेक हो जाएगी. इससे मानसून में पाकिस्तान की ओर बहने वाले अतिरिक्त पानी को रोककर गंगनहर क्षेत्र में उपयोग में लिया जा सकेगा. करीब 3.14 लाख हेक्टेयर सिंचित क्षेत्र को इसका प्रत्यक्ष लाभ मिलेगा.
प्राथमिकता पर रखते हुए मंजूरी प्रदान की
अप्रैल 2025 में श्रीगंगानगर प्रवास के दौरान किसानों और जनप्रतिनिधियों ने मुख्यमंत्री से इस परियोजना को शीघ्र शुरू करने की मांग रखी थी. इसके बाद मुख्यमंत्री शर्मा ने स्वयं जलशक्ति मंत्री से बातचीत कर मामले को केंद्र स्तर तक पहुंचाया. नतीजतन केंद्रीय जल आयोग ने इसे प्राथमिकता पर रखते हुए मंजूरी प्रदान की.
इस बहुप्रतीक्षित परियोजना को 24 अप्रैल 2025 को केंद्रीय जल आयोग की सलाहकार समिति की बैठक में स्वीकृति मिल चुकी है. कुल 647.62 करोड़ रुपये की लागत वाली इस परियोजना में पंजाब की हिस्सेदारी 379.12 करोड़ (58.54 प्रतिशत) और राजस्थान की हिस्सेदारी 268.50 करोड़ रुपये (41.46 प्रतिशत) होगी.
पंजाब सरकार से हुई बात
राजस्थान सरकार की तरफ से इसकी राशि के लिए वित्तीय प्रावधान की सैद्धांतिक सहमति पंजाब सरकार से प्राप्त हो चुकी है. अब इसे वित्त विभाग के परीक्षण के बाद केंद्र सरकार को भेजे जाने की प्रक्रिया शुरू होगी. मुख्यमंत्री शर्मा ने बताया कि केंद्र से वित्तीय स्वीकृति के बाद निविदा प्रक्रिया शुरू कर दी जाएगी और इस वर्ष के भीतर निर्माण कार्य की शुरुआत का लक्ष्य है. आगामी दो वर्षों में इसे पूरा करने का संकल्प लिया गया है.
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