Rajasthan Politics: 10 मिनट के वीडियो से 17 सेकेंड की क्लिप उठाई, खाचरियावास बोले- आखिर सच्चाई CM भजनलाल की जुबां पर आई

Rajasthan CM Speech: राजस्थान के सीएम भजनलाल शर्मा के भाषण की क्लिप शेयर कर पूर्व मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास ने थैंक्यू कहा है.

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राजस्थान सीएम भजनलाल शर्मा के भाषण की क्लिप शेयर कर खाचरियावास ने थैंक्यू बोला है.

Rajasthan News: राजस्थान की पूर्ववर्ती अशोक गहलोत सरकार में कैबिनेट मंत्री रहे प्रताप सिंह खाचरियावास (Pratap Singh Khachariyawas) ने बुधवार रात करीब 10 बजे एक्स पर मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा (Bhajan Lal Sharma) के भाषण की एक क्लिप शेयर करते हुए उन्हें 'थैंक्यू' कहा. कांग्रेस नेता ने सोशल मीडिया पर लिखा- 'सच्चाई छुप नहीं सकती, बनावट के उसूलों से, खुशबू आ नहीं सकती, कभी कागज के फूलों से. धन्यवाद सीएम भजनलाल! आखिर सच जुबां पर आ ही गया कि आजादी की लड़ाई कांग्रेस ने लड़ी थी, न की भाजपा ने.'

अधूरा लग रहा बयान

सीएम भजनलाल के भाषण की यह क्लिप 25 जून की है, जब वे जयपुर के चाकसू में आयोजित आपातकाल एवं डॉ. श्यामा प्रसाद मुखर्जी के बलिदान दिवस पर संगोष्ठी में शामिल हुए थे. अपने 10 मिनट के भाषण का वीडियो सीएम भजनलाल शर्मा ने एक्स पर भी शेयर किया. हालांकि पूर्व मंत्री खाचरियावास ने केवल 17 सेकेंड का चंक उठाकर उन्हें कांग्रेस की तारीफ करने के लिए थैंक्यू बोल दिया. हालांकि ध्यान से सुनने पर यह वीडियो अधूरा प्रतीत हो रही है. जब सीएम का पूरा बयान सुना गया तो पता चला कि वे कांग्रेस की तारीफ नहीं, बल्कि उस पर तंज कस रहे थे.

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सीएम भजनलाल का पूरा बयान

सीएम भजनलाल ने कहा था, 'देश को आजाद कराने के लिए हमारे बुजुर्गों-महापुरुषों ने अपना बलिदान दिया. देश को बड़े संघर्ष के बाद आजादी मिली. लेकिन तत्कालीन सत्ताधारी दल कांग्रेस ने लोगों का फायदा उठाया. कांग्रेस के नेतृत्व में आजादी की लड़ाई लड़ी गई थी. लेकिन कांग्रेस के इन लोगों ने तुष्टीकरण की राजनीति की. इन्होंने लोकतंत्र की हत्या की. इलाहाबाद हाईकोर्ट ने इंदिरा गांधी की लोकसभा सदस्यता को रद्द कर दिया था, जिससे उनकी कुर्सी खतरे में पड़ गई. जयप्रकाश नारायण जैसे नेताओं की आवाज जनता को एकजुट कर रही थी. ऐसे में आपातकाल एक ऐसा हथियार बन गया, जिसने लोकतंत्र को बंधक बना लिया. इसके बाद 25 जून की रात को इंदिरा गांधी ने आपातकाल की घोषणा कर दी थी. तब विपक्ष के लोगों को जेल में डाल दिया गया था. अखबारों पर सेंसरशिप लगा दी गई थी. जो भी उनके खिलाफ आवाज उठाता था, उन्हें जेल में डाल दिया जाता था. वो एक काला अध्याय था, जो आज भी याद आता है. कांग्रेस ने हमेशा इस लोकतंत्र के विरोध में काम किया.'

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