Chittorgarh News: राजस्थान की भजनलाल सरकार में सरकारी नुमाइंदों द्वारा मनरेगा के मटेरियल पेमेंट पर सरपंचों से 5 फीसदी कमीशन मांगने का मामला सामने आया है. नई सरकार बनने के बाद पहली बैठक में ही यह मामला सामने आया है. मामला सामने आने पर ऐसे भ्रष्ट ग्राम विकास अधिकारियों पर गाज गिरने की तैयारी शुरू हो गई है. चित्तौड़गढ़ जिला परिषद की साधारण सभा में महानरेगा में ग्राम विकास अधिकारियों द्वारा सरपंचों से 5 फीसदी कमीशन मांगने का मामला उठा है.
चित्तौड़गढ़ जिले की कपासन विधानसभा के विधायक अर्जुनलाल जीनगर और जिला प्रमुख भूपेंद्र सिंह बड़ौली जिला परिषद की आम सभा की बैठक ले रहे थे. विधायक जीनगर बैठक में मौजूद अधिकारियों से विभागवार जानकारी ले रहे थे. इसी दौरान कपासन विधायक अर्जुनलाल जीनगर ने साधारण सभा की बैठक में एक पत्र उठाया और कहा कि महनरेगा में कपासन पंचायत समिति के कुछ ग्राम पंचायतों के ग्राम विकास अधिकारियों ने सरपंचों से 5 फीसदी कमीशन की डिमांड की है.
अधिकारियों पर कार्रवाई की तैयारी
कपासन पंचायत समिति क्षेत्र के करीब एक दर्जन से अधिक ग्राम पंचायतों के सरपंचों ने 5 फीसदी कमीशन डिमांड पर विरोध जताते हुए विधायक को पत्र सौंपकर ऐसे भ्रष्ट ग्राम विकास अधिकारियों पर कार्रवाई की मांग की है. विधायक जीनगर ने कहा कि, प्रदेश की भजनलाल सरकार में भ्रष्टाचार कतई बर्दाश्त नहीं किया जाएगा. ऐसे भ्रष्ट ग्राम विकास अधिकारियों को एपीओ करने की तैयारी की जा रही हैं. उन्होंने कहा कि 5 फीसदी कमीशन किस बात का दिया जाए वो सरकार से तनख्वाह ले रहे हैं. भ्रष्टाचार करने वालों पर सख्त एक्शन होगा.
मटेरियल पेमेंट पर 5 फीसदी कमीशन की डिमांड
कपासन पंचायत समिति क्षेत्र के सरपंचों द्वारा विधायक जीनगर को सौंपे गए पत्र में बताया गया मनरेगा में मटेरियल पेमेंट 2-3 साल में आता हैं उस पर भी ग्राम विकास अधिकारियों द्वारा 5 फीसदी की डिमांड की जाती हैं. मार्केट में उधारी से पहले ही सरपंच कर्ज में डूबे हुए हैं. ऐसे में भ्रष्ट अधिकारियों को सुधारने की मांग की हैं.
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