Rajasthan News: भाजपा की पूर्व केंद्रीय मंत्री साध्वी निरंजन ज्योति कल देर रात सीकर भाजपा के सदस्यता अभियान को बढ़ावा देने आई है. यहां उन्होंने श्रीमाधोपुर स्थित सीताराम बाबा बावड़ी आश्रम पहुंचीं. आश्रम पहुंचने पर साध्वी का वहां के महामंडलेश्वर ओंकारदास जी महाराज ने स्वागत किया. इसके बाद आज यानी शनिवार को उन्होंने खाटूश्याम में बाबा श्याम के दर्शन कर पूजा-अर्चना की. इसके बाद सालासर दरबार में मत्था टेका. आश्रम पहुंचने उन्होंने मीडिया से बातचीत बी की, जिसमें उन्होंने वन नेशन वन इलेक्शन को सही ठहराया. इसके साथ ही उन्होंने राजस्थान के उपचुनाव में भाजपा की जीत का दावा भी किया.
सभी दल मिलकर करे इसका समर्थन
वन नेशन वन इलेक्शन के सवाल पर बीजेपी नेता साध्वी निरंजन ज्योति ने कहा कि सभी दलों को मिलकर इसका समर्थन करना चाहिए क्योंकि इससे देश का बहुत बड़ा आर्थिक बजट बचेगा. वहीं जब भी किसी राज्य में चुनाव होते हैं तो अधिसूचना जारी होने के बाद आम आदमी के विकास का काम नहीं हो पाता. इसलिए देश में दो चरणों में चुनाव होना अच्छी बात है. इसका सभी को मिलकर समर्थन करना चाहिए. लोकसभा और विधानसभा चुनाव एक साथ होने चाहिए और स्थानीय निकाय और पंचायत चुनाव एक साथ होने चाहिए. इसमें यह भी प्रावधान है कि अगर कोई सरकार अल्पमत में गिरती है तो बचे हुए कार्यकाल के लिए दोबारा चुनाव कराए जाएंगे. इसके बाद उन्होंने राहुल गांधी के जरिए दिए गए बयानों के बारे में भी बात की.
राहुल गांधी पर साधा निशाना
उन्होंने कांग्रेस नेता राहुल गांधी के बयानों पर भी कटाक्ष किया. उन्होंने कहा, "नाच ना आवे, आंगन टेढ़ा.." इसके अलावा उन्होंने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा, "आतंकवादियों के मारे जाने पर कौन शोक मनाता है? राम मंदिर न बने, इसके लिए कोर्ट में कौन खड़ा होता है? देश में कहीं भी कोई घटना होती है तो प्रियंका-राहुल गांधी वहां पहुंच जाते हैं। लेकिन पश्चिम बंगाल में महिला डॉक्टर के साथ दुष्कर्म और उसके बाद उसकी निर्मम हत्या के घटनास्थल पर वे अभी तक नहीं पहुंचे हैं.यह कांग्रेस का दोहरा चरित्र था और रहेगा."
देश की न्याय व्यवस्था पर सवाल उठाना गलत- साध्वी निरंजन ज्योति
बीजेपी नेत्री ने आगे कहा कि सबकी अलग-अलग राजनीतिक विचारधारा होती है. लेकिन देश के बाहर जाकर देश के खिलाफ बोलना गलत है. राहुल गांधी विदेश में जाकर भारत के चुनाव और उसकी न्याय व्यवस्था पर सवाल उठाते हैं. जिसे अंतरराष्ट्रीय मंच पर उचित नहीं ठहराया जा सकता. संसद में कोरम के तहत ऐसे सवाल उठाए जा सकते हैं. लेकिन देश के बाहर कोई भी इसे उचित नहीं मानता. उन्होंने कहा कि अगर संविधान की धज्जियां उड़ाई गईं तो वो कांग्रेस ही थी जिसने देश में आपातकाल जैसा कानून लागू करके ऐसा किया. कांग्रेस ने ये सब सिर्फ इसलिए किया क्योंकि वो चुनाव हार गई. व्यक्तिगत टिप्पणी नहीं की जानी चाहिए. लेकिन जब आतंकवादी मारे जाते हैं तो कौन शोक मनाता है? कोर्ट में कौन खड़ा होकर राम मंदिर निर्माण को रोकता है?
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