मध्य प्रदेश CM के लेटर हेड पर रणथंभौर टाईगर रिजर्व घूमने आया युवक, एक गलती से पहुंचा सलाखों के पीछे

Ranthambore Tiger Reserve: सवाई माधोपुर में फर्जी तरीके से मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री के नाम से रणथम्भौर में जिप्सी लेने का मामला सामने आया है. मामले में कोतवाली थाना पुलिस ने गुजरात के अहमदाबाद के एक युवक को डिटेन किया है.

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प्रतीकात्मक तस्वीर

Madhya Pradesh CM letterhead Case: सवाई माधोपुर स्थित प्रदेश के सबसे बड़े रणथंभौर टाईगर रिजर्व में पार्क भ्रमण को लेकर वाहन बुकिंग में फर्जीवाड़ा कोई नई बात नहीं है. यहां फर्जी टिकट से पार्क भ्रमण आम बात है, अब ऐसा ही एक और सनसनीखेज मामला सामने आया है. जहां फर्जीवाड़े का आलम यह है कि जिप्सी के लिए एक युवक ने मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री के लेटर हेड का उपयोग कर डीएफओ पर्यटन को वॉट्सअप और मेल पर भेज दिया और जिप्सी की मांग कर डाली.

मध्यप्रदेश CMO में जांच के लिए भेजा गया लेटर

मामला संदिग्ध होने पर डीएफओ पर्यटन प्रमोद धाकड़ ने मध्यप्रदेश सीएमओ को लेटर हेड भेज कर वास्तविकता जानी. तो वहां से लेटर हेड फर्जी होने की जानकारी मिली, जिस पर डीएफओ ने युवक को अपने ऑफिस बुलाकर कोतवाली थाना पुलिस को सुपुर्द कर दिया. कोतवाली थानाधिकारी हरलाल सिंह मीणा ने बताया कि वन विभाग ने मामले में रिपोर्ट दर्ज कराई गई है, मामले की जांच की जा रही है.

5 दोस्तों ने MP के CM के नाम से बनाया लेटर

रिपोर्ट में वनाधिकारियों ने बताया कि अहमदाबाद का श्रेय मेहता अपने अन्य 5 दोस्तों के साथ रणथम्भौर टाइगर रिजर्व घूमने आए थे. मेहता ने जिप्सी के लिए मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के लेटर हेड पर मुख्यमंत्री के हस्ताक्षर कर डीएफओ पर्यटन को वॉट्सअप ओर मेल पर भेजा. वन विभाग ने शक होने पर लेटर हेड की जांच के लिए सीएमओ एमपी को भेजा, जहां से लेटर हेड फर्जी होने की जानकारी मिली.

इस पर पर वन विभाग ने कोतवाली थाना सवाई माधोपुर में मामला दर्ज कराया है. मामला दर्ज होने पर पुलिस ने रणथम्भौर की एक होटल से श्रेय मेहता को डिटेन किया है. पुलिस मामले की जांच कर रही है.

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रणथम्भौर में सक्रिय है टिकट माफिया गिरोह

रणथम्भौर में टिकट की मारामारी के चलते यहां टिकट माफिया गिरोह सक्रिय है. इनके द्वारा पर्यटकों को तरह-तरह के आइडिया देकर फर्जी तरीके से टिकट कराए जा रहे हैं. इससे पहले भी टिकट पर फर्जी आधार कार्ड तैयार कर जिप्सी दिलवाने का मामला सामने आ चुका है.

मुख्यमंत्री के फर्जी लैटर हेड पर जिप्सी लेने का मामला सामने आने के बाद वन विभाग में हड़कम्प मचा हुआ है. वहीं जानकारी मिल रही है कि यह मामला सामने आने के बाद मध्य प्रदेश के सीएमओ में भी इंटेलिजेंस द्वारा इस मामले की जांच की जा रही है.

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