शिक्षा हमारे उज्ज्वल भविष्य के लिए बहुत ही आवश्यक है. शिक्षा का उच्च स्तर लोगों की सामाजिक और पारिवारिक सम्मान तथा एक अलग पहचान बनाने में मदद करता है. अच्छी शिक्षा प्राप्त करने के लिए स्कूल में जाना आवश्यक है, लेकिन स्कूल में शिक्षा देनें के लिए शिक्षक ही न हों तो कहां जाएं. राजस्थान की सरकार शिक्षा के क्षेत्र में अभूतपूर्व काम करने का दावा तो करती है, लेकिन जमीनी हकीकत कुछ अलग है. प्रदेश के अलग-अलग जिलों से शिक्षकों की कमी के कारण छात्रों के विरोध की खबरें आती रही हैं. ताजा मामला सिरोही जिले से सामने आया है. जहां एक विद्यालय में शिक्षकों की कमी के कारण छात्रों ने स्कूल का तालेबंदी कर प्रदर्शन किया.
ऐसे में स्कूल में शिक्षण कार्य प्रभावित हो रहा है. शिक्षकों की कमी के कारण सिलेबस भी पाठ्यक्रम अधूरा पड़ा रह जाता है. ऐसे में परीक्षा के परिणाम पर भी बुरा असर पड़ता है. इसको लेकर आक्रोशित छात्रों ने आज स्कूल गेट पर ताला लगाया और जमकर नारेबाज़ी करते हुए प्रदर्शन किया.
सूचना पर मुख्य ब्लॉक शिक्षा अधिकारी पूनम सिंह सोलंकी, मॉडल स्कूल प्रिंसिपल केशर सिंह राव समेत शिक्षा विभाग के अधिकारी मौक़े पर पहुंचे और छात्रों की समस्या पर बात कर उनको समझाया. पूनम सिंह ने बताया कि स्कूल में शिक्षकों के ज्यादा पद रिक्त नहीं है दरअसल कुछ शिक्षकों को चुनाव सम्बन्धित कार्य हेतु लगाया गया है.
उन्होंने कहा स्कूल में उपचारात्मक शिक्षण के माध्यम से व्यवस्था करवाई जा रही है, साथ ही कुछ शिक्षक जो अन्य कार्यों से बाहर हैं, उनकों नियत कालांशो में शिक्षण कार्य करवाने के लिए भेजे जाने की भी व्यवस्था की जाएगी. उन्होंने बताया कि छात्रों को संतुष्ट किया गया है कि उनके शिक्षण कार्य में कोई बाधा नहीं आएगी, जिसके बाद सभी छात्र मान गए और प्रदर्शन समाप्त कर दिया.
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