Kolayat Train Derail: राजस्थान में भीषण रेल हादसा, मालगाड़ी के 37 डिब्बे पटरी से उतरे, जैसलमेर-बीकानेर ट्रेन रूट ठप

रेलवे के इंजीनियरिंग और टेक्निकल स्टाफ ने काम शुरू कर दिया है, लेकिन ट्रैक की हालत को देखते हुए लग रहा है कि इस काम में कई घंटे लग सकते हैं या शायद पूरा दिन भी लग सकता है.

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बीकानेर: कोलायत के पास मालगाड़ी पटरी से उतरी, रेल रूट प्रभावित
NDTV Reporter

Rajasthan News: राजस्थान के बीकानेर जिले में मंगलवार सुबह एक मालगाड़ी के 37 डिब्बे पटरी से उतर गए. यह हादसा चानी और कोलायत स्टेशनों के बीच हुआ, जिससे बीकानेर-जैसलमेर रेलमार्ग पर यातायात पूरी तरह से बाधित हो गया है. राहत की बात यह है कि यह एक मालगाड़ी थी और इस घटना में किसी भी तरह की जनहानि जान का नुकसान नहीं हुई. हालांकि, मालगाड़ी के पटरी से उतरने के कारण रेलवे ट्रैक पूरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गया है.

यात्री ट्रेन से सिर्फ 30 मिनट का फासला

जानकारी के मुताबिक, जिस समय यह मालगाड़ी दुर्घटनाग्रस्त हुई, उसके ठीक आधे घंटे बाद उसी ट्रैक पर बीकानेर-जैसलमेर यात्री ट्रेन को गुजरना था. अगर यह हादसा 30 मिनट बाद होता, तो यात्री ट्रेन इसकी चपेट में आ सकती थी, जिससे एक बड़ी और विनाशकारी जनहानि हो सकती थी. यह 30 मिनट का अंतर ही रहा जिसने सैकड़ों लोगों की जान को खतरे में पड़ने से बचा लिया. रेलवे अब इस बात की जांच कर रहा है कि आखिर चूक कहां हुई?

कई ट्रेनें रद्द और डायवर्ट

उत्तर पश्चिम रेलवे के सीपीआरओ (CPRO) शशि किरण ने मीडिया को इस संबंध में जानकारी दी है. उनके अनुसार, यात्रियों की सुविधा को देखते हुए और ट्रैक की मरम्मत के कारण कई ट्रेनों के शेड्यूल में बदलाव किया गया है:-

  • 12468 जयपुर–जैसलमेर एक्सप्रेस: यह ट्रेन आज जैसलमेर तक नहीं जाएगी, बल्कि बीकानेर स्टेशन पर ही समाप्त कर दी जाएगी.
  • 12467 जैसलमेर–जयपुर एक्सप्रेस: यह ट्रेन कल (अगले दिन) जैसलमेर की बजाय बीकानेर से ही अपनी यात्रा शुरू करेगी.
  • 14704/03 लालगढ़–जैसलमेर–लालगढ़ ट्रेन: इस ट्रेन को पूरी तरह से रद्द कर दिया गया है.

रेलवे प्रशासन ने सभी यात्रियों से अनुरोध किया है कि वे यात्रा शुरू करने से पहले ट्रेन की वर्तमान स्थिति की जानकारी रेलवे की आधिकारिक वेबसाइट या हेल्पलाइन से ज़रूर जांच लें, ताकि उन्हें अनावश्यक परेशानी न हो.

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रेलवे प्रशासन मौके पर, जांच जारी

हादसे की सूचना मिलते ही रेलवे प्रशासन की एक विशेष टीम मौके पर पहुंच गई है और युद्ध स्तर पर राहत और ट्रैक बहाली का काम शुरू कर दिया गया है. 37 डिब्बों को हटाना और पूरी तरह क्षतिग्रस्त ट्रैक की मरम्मत करना एक बड़ी इंजीनियरिंग चुनौती है.

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