चौमूं में शुक्रवार (26 दिसंबर) को पुलिस पर पथराव हुआ. मामला तब बिगड़ा, जब बस स्टैंड के पास स्थित मस्जिद के बाहर पत्थर हटाने पर विवाद हो गया. रात 3 बजे वहां मौजूद लोगों ने पुलिस पर पत्थर फेंके. घटना में करीब 6 पुलिसकर्मियों को चोटें आईं. पुलिस ने हालात काबू में करने के लिए पुलिस ने आंसू गैस के गोले छोड़े. फिलहाल क्षेत्र में भारी पुलिस बल तैनात है. पुलिस प्रशासन का कहना है कि हालात नियंत्रण में हैं, लेकिन एहतियात के तौर पर सुरक्षा बढ़ा दी गई है. साथ ही बस स्टैंड क्षेत्र में हालात पर लगातार नजर रखी जा रही है. दरअसल, क्षेत्र में ट्रैफिक व्यवस्था सुधार को लेकर काम चल रहा था. इससे एक दिन पहले ही पुलिस-प्रशासन और मुस्लिम समुदाय के प्रतिनिधियों के बीच बैठक हुई थी. बैठक में सहमति बनने के बाद मस्जिद के पास करीब 45 वर्षों से सड़क किनारे पड़े पत्थरों को हटाने का निर्णय लिया गया था. ताकि यातायात सुचारू हो सके और आमजन को जाम से राहत मिले.
रेलिंग का काम शुरू होते ही विरोध
जब पत्थर की जगह पर रेलिंग लगाने का काम शुरू हुआ तो लोगों ने विरोध किया. अचानक रात 3 बजे देखते ही देखते मामला उग्र हो गया. बस स्टैंड क्षेत्र में लोगों की भीड़ जमा हो गई और पुलिस पर पथराव कर दिया गया. स्थिति बिगड़ने पर पुलिस ने तत्काल मोर्चा संभालते हुए आंसू गैस का इस्तेमाल किया और अतिरिक्त जाब्ता मौके पर बुलाया गया.

बीते दिन, शांतिपूर्वक तरीके से काम चल रहा था.
अफवाह फैलाने वालों के खिलाफ होगी कार्रवाई
इससे पहले चौमूं एसएचओ प्रदीप शर्मा ने स्पष्ट किया था कि केवल सड़क पर पड़े पत्थरों को ही आपसी सहमति से हटाया गया है और किसी भी तरह की अफवाह नहीं फैलाई जाए. उन्होंने चेतावनी दी थी कि सोशल मीडिया या अन्य माध्यमों से अफवाह फैलाने वालों के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई की जाएगी. पुलिस पूरे मामले की जांच कर रही है. पथराव में शामिल लोगों की पहचान की जा रही है और दोषियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की तैयारी की जा रही है.
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