Rajasthan: 'SI भर्ती रद्द हुई तो ईमानदार अभ्यर्थियों के साथ होगी नाइंसाफ़ी' पेपर लीक मामले में सरकार का हाईकोर्ट में जवाब 

SI Paper Leak Case: सरकार का यह भी कहना था कि “कानूनी रूप से भर्ती तभी रद्द की जा सकती है, जब यह पूरी तरह स्पष्ट हो जाए कि पेपर लीक में शामिल लोग और ईमानदार अभ्यर्थियों के बीच फर्क करना असंभव है. अभी हम उस स्थिति तक नहीं पहुंचे हैं.”

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SI recruitment Case 2021: राजस्थान हाईकोर्ट में मंगलवार को एसआई भर्ती मामले की सुनवाई हुई. सुनवाई के दौरान न्यायमूर्ति समीर जैन ने राज्य सरकार से सवाल किया, “जब चयन एजेंसी के अधिकारियों ने परीक्षा का पेपर 35 दिन पहले लीक कर दिया, तो क्या सरकार यह नहीं मानती कि पूरी भर्ती प्रक्रिया की निष्पक्षता पर गंभीर सवाल उठ चुके हैं?”

इसके जवाब में राज्य सरकार की ओर से पेश हुए अतिरिक्त महाधिवक्ता (एएजी) विज्ञान शाह ने दलील दी, “सिर्फ परीक्षा की शुचिता भंग होने को आधार बनाकर पूरी भर्ती को रद्द नहीं किया जा सकता.” सरकार ने अपना पक्ष रखते हुए कहा, “हम दोषियों पर सख्त कार्रवाई करना चाहते हैं. अगर इस चरण में भर्ती रद्द कर दी जाती है, तो उन अभ्यर्थियों के साथ अन्याय होगा, जिन्होंने ईमानदारी से परीक्षा दी थी.

पूरी भर्ती नहीं हो सकती रद्द 

उन्होंने कहा, ''हमारी प्राथमिकता पहले दोषियों के खिलाफ कार्रवाई करने की है.” सरकार का यह भी कहना था कि “कानूनी रूप से भर्ती तभी रद्द की जा सकती है, जब यह पूरी तरह स्पष्ट हो जाए कि पेपर लीक में शामिल लोग और ईमानदार अभ्यर्थियों के बीच फर्क करना असंभव है. अभी हम उस स्थिति तक नहीं पहुंचे हैं.”

याचिकाकर्ताओं ने भर्ती रद्द करने की मांग की 

हाईकोर्ट ने माना कि मामला विचाराधीन है और सरकार की ओर से आज बुधवार को आगे की दलीलें दी जाएंगी. इस मामले में कई पक्ष शामिल हैं—याचिकाकर्ता, राज्य सरकार और प्रशिक्षण प्राप्त कर रहे एसआई. याचिकाकर्ताओं का कहना है कि पूरी भर्ती को रद्द किया जाए क्योंकि स्पेशल ऑपरेशंस ग्रुप (एसओजी), पुलिस मुख्यालय, महाधिवक्ता और मंत्रिमंडलीय उप-समिति सभी ने भर्ती रद्द करने की सिफारिश की है.

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हम नहीं हैं पेपर लीक में शामिल- ट्रेनी SI 

वहीं, प्रशिक्षण प्राप्त कर रहे सब-इंस्पेक्टरों का तर्क है कि वो इस पेपर लीक में शामिल नहीं हैं. उन्होंने यह भी कहा कि उन्होंने अन्य सरकारी नौकरियों को छोड़कर इस पद को चुना, और अब अगर भर्ती रद्द होती है, तो उनके साथ घोर अन्याय होगा.

गौरतलब है कि 2021 की एसआई भर्ती परीक्षा पेपर लीक कांड से प्रभावित हुई थी. एसओजी की जांच में सामने आया कि नकली अभ्यर्थियों का इस्तेमाल किया गया और नौकरी पाने के लिए धोखाधड़ी के तरीके अपनाए गए. अब तक करीब 50 प्रशिक्षु एसआई गिरफ्तार हो चुके हैं, जिनमें से 25 को हाईकोर्ट से जमानत मिल चुकी है.

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