Student Union Elections in Rajasthan: राजस्थान में छात्रसंघ चुनाव की मांग जोर पकड़ती जा रही है. बीते कुछ दिनों से राजधानी जयपुर, कोटा सहित अन्य जिलों में छात्र संघ चुनाव को लेकर छात्र सड़कों पर उतर आए हैं. शनिवार को भी कोटा में वाणिज्य महाविद्यालय के छात्रों ने छात्र संघ अध्यक्ष अर्पित जैन के नेतृत्व में छात्र संघ चुनाव जल्द करवाने की मांग को लेकर विरोध प्रदर्शन कि. प्रदर्शन के दौरान छात्रों ने टायर जला कर नारेबाजी की, और सरकार से छात्रों के हित में चुनाव करवाने की मांग की. छात्र नेताओं का कहना है कि महाविद्यालय में विद्यार्थियों की विद्यार्थियों की समस्याओं के साथ अन्य कार्यों में भी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है. प्रदर्शन के बाद प्रदर्शनकारियों ने प्राचार्य को मुख्यमंत्री और उच्च शिक्षा मंत्री के नाम ज्ञापन की सौंपा. इस बीच पूर्व सीएम अशोक गहलोत ने भी छात्रसंघ चुनाव कराने की मांग की है.
विधानसभा चुनाव के लिए नहीं करवा सके छात्रसंघ चुनावः गहलोत
अशोक गहलोत ने लिखा- हमारी सरकार के समय पुलिस-प्रशासन के फीडबैक के कारण चुनावी वर्ष में छात्रसंघ चुनाव नहीं करवाए जा सके थे क्योंकि प्रशासन विधानसभा चुनावों की तैयारी में व्यस्त था एवं अधिकांश जगह कॉलेज ही चुनावी गतिविधियों जैसे चुनावी ट्रेनिंग, EVM भंडारण एवं मतगणना केन्द्र आदि होते हैं.
'छात्रसंघ राजनीति की पहली पाठशाला'
गहलोत ने आगे लिखा कि मेरा मानना है कि छात्रसंघ राजनीति की पहली पाठशाला है. छात्रसंघ चुनावों से विद्यार्थियों में लोकतंत्र एवं संविधान के प्रति जागरुकता आती है. मैं स्वयं छात्रसंघ की राजनीति से निकला हूं. पिछले कार्यकाल में भाजपा सरकार ने छात्रसंघ चुनावों पर रोक लगाई थी जिसे हमारी सरकार ने हटाया. कोविड के बाद भी हमारी सरकार ने ही छात्रसंघ चुनाव बहाल किए थे.
छात्रों पर बल प्रयोग की गहलोत ने की निंदा
गहलोत ने छात्रसंघ चुनाव की मांग कर रहे छात्रों पर पुलिस द्वारा किए गए बल प्रयोग की भी निंदा की. उन्होंने लिखा सरकार को छात्रसंघ चुनावों की मांग कर रहे विद्यार्थियों पर जयपुर में किए बल प्रयोग की मैं कड़ी निंदा करता हूं. ऐसा करने की बजाय राज्य सरकार को उनकी मांग को मानना चाहिए. विद्यार्थियों पर बल प्रयोग, उन पर मुकदमे लगाकर उनके करियर को प्रभावित करने का डर दिखाना आदि लोकतांत्रिक कदम नहीं हैं. ये विद्यार्थी ही आगे की राजनीति का भविष्य हैं.
जेएनयू की भांति शुचिता के साथ हो छात्रसंघ चुनाव
साथ ही, मैं छात्रसंघ चुनाव में शामिल होने के इच्छुक युवाओं से भी कहना चाहता हूं कि आप भी इन चुनावों को पैसा और ताकत दिखाने का जरिया बनाने की जगह JNU दिल्ली की भांति शुचिता एवं बुद्धिमता वाला चुनाव बनाएं और एक नई राजनीति की शुरुआत करें.
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