Border-Gavaskar Series: कोहली-कोंस्टास विवाद पर सैयद किरमानी ने कहा, 'मौजूदा पीढ़ी प्रतिशोध में विश्वास करती है'

मेलबर्न टेस्ट में विराट कोहली और सैम कोंस्टास के बीच हुई टक्कर ने क्रिकेट जगत में बहस छेड़ दी है. इस घटना पर 1983 विश्व कप विजेता सैयद किरमानी ने अपनी राय व्यक्त करते हुए कहा है कि आजकल के क्रिकेटर 'प्रतिशोध' की भावना से खेलते हैं. 

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सैम कोंस्टास और विराट कोहली.

Border-Gavaskar Trophy News: ऑस्ट्रेलिया के मेलबर्न क्रिकेट ग्राउंड (एमसीजी) में बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी सीरीज के चौथे टेस्ट के पहले दिन विराट कोहली और सैम कोंस्टास के बीच हुए विवाद को लेकर काफी बहस हुई है. जिसको लेकर हर तरफ विराट कोहली को आलोचना हो रही है. वहीं इसी बीच 1983 के विश्व कप विजेता विकेटकीपर सैयद किरमानी ने इस ताजा विवाद पर अपनी राय दी है. जिसमें उन्होंने कहा कि मौजूदा पीढ़ी के क्रिकेटर प्रतिशोध में विश्वास रखते हैं.'' 

हमारे क्रिकेटर नहीं खेल रहे सज्जनों की तरह

यह विवाद खेल के एक रोमांचक सत्र के दौरान हुआ, जब कोंस्टास एक शानदार पारी खेल रहे थे और कोहली ओवरों के बीच में 19 वर्षीय खिलाड़ी से टकरा गए. विवाद पर किरमानी ने कहा कि हमने सज्जनों की तरह खेला. ऐसा नहीं है कि हमारे क्रिकेटर सज्जनों की तरह नहीं खेल रहे हैं. यह प्रतिशोध का मामला है. अब रवैया और आवेदन बदल गया है. अब हम इसे चुपचाप नहीं बोल सकते.

मौजूदा दौर के क्रिकेटरों का यह है नया रवैया

किरमानी ने आगे कहा कि हमें जवाबी कार्रवाई करनी होगी. कोहली पर आईसीसी आचार संहिता के अनुच्छेद 2.12 के तहत आरोप लगाया गया है. जो किसी खिलाड़ी उसके सहयोगी स्टाफ, अंपायर, मैच रेफरी या किसी अन्य व्यक्ति (अंतर्राष्ट्रीय मैच के दौरान दर्शक सहित) के साथ अनुचित शारीरिक संपर्क" से संबंधित है. भारतीय बल्लेबाज ने आरोपों को स्वीकार कर लिया, जिससे औपचारिक सुनवाई की जरूरत नहीं पड़ी.

उन्होंने कहा कि यह मौजूदा दौर के क्रिकेटरों का नया रवैया है. हमारे समय में, स्लेजिंग होती थी. हमने कभी जवाबी कार्रवाई नहीं की. हमने बस पलटकर अपनी पीठ दिखा दी. आप देखिए, जवाबी कार्रवाई, स्लेजिंग और यह सब, आप जानते हैं. खिलाड़ियों का ध्यान भटकाने के लिए है. खासकर जब आप बल्लेबाजी कर रहे हों, जब कोई महान बल्लेबाज शानदार पारी खेल रहा हो.

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