माउंट आबू राजस्थान प्रदेश का एकमात्र हिल स्टेशन है. यह स्टेशन अरावली पर्वत श्रृंखला के दक्षिण-पश्चिम में स्थित है. यहां की हवा में शीतलता और आध्यात्मिक शांति दोनों है. यहां के पहाड़ और चारों तरफ़ फैली हरियाली, ईश्वरीय ख़ूबसूरती का अहसास कराती है. और इसी खूबसूरती का लुत्फ़ उठाने इस वीकेंड लोगों की भीड़ फिर से उमड़ने लगी है. बीते कुछ दिनों में माउंट आबू का तापमान कम हुआ है. यहां दिन का तापमान 29 डिग्री और रात्रि का तापमान 14 से 17 डिग्री होने के कारण बड़ी संख्या में पर्यटक पहुंचने लगे हैं. इस बार बारिश के कारण पर्यटन को बढ़ावा मिलने की पूरी आस है. होटल व्यवसायी से लेकर स्थानीय लोगों का रोजगार पर्यटन पर ही आधारित है. इस मौसम का लुत्फ उठाने के लिए इस वीकेंड करीब 90 हजार पर्यटक माउंट आबू पहुंचे. करीब 12 हजार से ज्यादा गाड़ियां माउण्ट आबू पहुंची. इससे नगरपालिका को 16 लाख की आय हुई. पर्यटकों के आने से पूरा माउण्ट आबू गुलजार हो गया है.
प्राकृतिक सौंदर्य से है भरपूर
यह वही पुण्य स्थल है, जहां महर्षि वशिष्ठ रहा करते थे. प्राचीन समय से ही इसे ऋषियों-मुनियों का तपोवन माना जाता रहा है. माउंट आबू में गुरुशिखर, अचलगढ़, सनसेट प्वाइंट, दिलवाड़ा जैन मंदिर, ओम शांति भवन, ज्ञान सरोवर, अधरदेवी प्रमुख आकर्षण केंद्र है. जो पर्यटकों को अपनी ओर खींच कर लाती है.
गुजरात से आते है ज्यादातर पर्यटक
माउण्ट आबू आने वाले पर्यटकों में ज्यादातर गुजरात के पर्यटक होते है. क्योंकि वे वीकेंड पर दो-तीन दिनों के लिए माउण्ट आबू का रुख करते है. जब पर्यटकों की धूम होती है तो उस समय सभी होटल और रेस्तरां पूरे भर जाते है.
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