![Rajasthan: किसानों के प्रदर्शन को कांग्रेस का समर्थन,चक्का जाम हुए राजस्थान के ये हाइवे Rajasthan: किसानों के प्रदर्शन को कांग्रेस का समर्थन,चक्का जाम हुए राजस्थान के ये हाइवे](https://c.ndtvimg.com/2025-02/31gtk7uo_---_625x300_15_February_25.jpg?im=FeatureCrop,algorithm=dnn,width=773,height=435)
Farmer Protest: राजस्थान में बीकानेर संभाग के श्रीगंगानगर समेत कई जिलों के किसानों ने रबी फसलों के लिए इंदिरा गांधी नहर से अतिरिक्त सिंचाई पानी की मांग को लेकर आज यानी शनिवार (15 फरवरी) को हाईवे जाम कर दिया. किसानों के प्रदर्शन को कांग्रेस का समर्थन मिला है, जिसका जिले में व्यापक असर देखने को मिला है. किसानों ने बीकानेर के जामसर और श्रीगंगानगर हाईवे के दोनों ओर वाहनों की आवाजाही पूरी तरह से रोक दी है, जिससे सड़क के दोनों ओर वाहनों की लंबी कतारें लग गई हैं.
किसानों को चाहिए एक हजार क्यूसेक पानी
IGNP क्षेत्र को पेयजल के लिए करीब 3200 क्यूसेक पानी (भाखड़ा का हिस्सा मिलाकर 4095 क्यूसेक) मिल रहा है. किसानों को सिंचाई के लिए पानी उपलब्ध कराने के लिए नहर में कम से कम 1000 क्यूसेक अतिरिक्त पानी चलाने की जरूरत है. दरअसल, उत्तर-पश्चिमी राजस्थान के श्रीगंगानगर, हनुमानगढ़, बीकानेर और जैसलमेर जिलों में सिंचाई का पानी पंजाब से आने वाली नहरों से प्राप्त होता है. इसके साथ ही नहरें जोधपुर-बाड़मेर तक के क्षेत्र को सालभर पेयजल उपलब्ध करा रही हैं. यह पानी पंजाब में बने हरिके बैराज से प्राप्त होता है. आईजीएनपी को अपने हिस्से का पानी रावी-ब्यास नदी पर बने पौंग बांध से मिलता है. बांधों में 20 लाख 80 हजार एकड़ फीट पानी पेयजल जरूरतों के लिए आरक्षित है. इसके बाद बचे पानी का उपयोग सिंचाई के लिए किया जाता है.
विधानसभा में उठाया जा चुका है मुद्दा
सिंचाई के लिए अतिरिक्त पानी के लिए प्रशासन और किसानों के बीच वार्ता पहले ही विफल हो चुकी है. अनूपगढ़ विधायक शिमला देवी इसका समर्थन करते हुए कहती हैं कि उन्होंने किसानों की गुहार राजस्थान विधानसभा सत्र में उठाई है. इसके लिए वे जल संसाधन मंत्री और प्रशासनिक अधिकारियों से वार्ता कर रहे हैं, लेकिन इस पर अभी तक कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है.
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