Dinner with Collector: शिक्षा की नगरी के नाम से प्रसिद्ध 'कोटा' में छात्रों को राहत देने के लिए कोटा जिला प्रशासन हर संभव कोशिश कर रहा है. कोटा में देश भर के बच्चे मेडिकल और इंजीनियरिंग के लिए प्रवेश परीक्षाओं की तैयारी करने आते हैं. कोचिंग विद्यार्थियों को अवसाद मुक्त रखने उन्हें सकारात्मक माहौल देने की दिशा में जिला प्रशासन ने एक और बड़ी पहल शुरू की है.
"कामयाब कोटा" अभियान
जिला कलेक्टर डॉ रविंद्र गोस्वामी हर शुक्रवार किसी भी हॉस्टल में विद्यार्थियों के साथ डिनर कर उनके साथ संवाद करेंगे. "कामयाब कोटा" अभियान के अंतर्गत कोचिंग सेक्टर के सुदृढ़ीकरण के उद्देश्य से जिला कलेक्टर ने यह शुरुआत कुन्हाड़ी लैंडमार्क सिटी स्थित शिव रेजिडेंसी गर्ल्स हॉस्टल में छात्राओं के साथ डिनर कर के की है.
अनौपचारिक वातावरण में बातचीत की
यहां रह रही बच्चियों के साथ डाइनिंग टेबल पर अनौपचारिक वातावरण में उनके साथ बातचीत की तो कुछ ही देर में बच्चियां ऐसे घुल -मिल गई जैसे अपने परिवार के बीच हों. कलेक्टर ने सहजता से उनकी बातें सुनी और अपनी बातें कही. साथ ही विद्यार्थी जीवन के अपने अनुभव बांटे. हंसी -ठहाकों के बीच गहरी सीख और गुरु मंत्र भी दे डाले. अपने बीच अचानक जिला कलेक्टर को पाकर छात्राएं फूली नहीं समायीं.
कलेक्टर रविंद्र गोस्वामी ने बताया
उन्होंने दैनिक अध्ययन में आने वाली परेशानियों, असमंजस, अध्ययन के तौर तरीके, अध्ययन में एकाग्रता, टाइम मैनेजमेंट और सफलता के टिप्स जिला कलेक्टर से बातों-बातों में ही पा लिए. छात्राओं ने बताया कि इस तरह अचानक हमारे बीच जिला कलेक्टर का आना एक सुखद आश्चर्य था. उन्हें अपने बीच पाकर और भोजन साथ में करके ऐसा लगा जैसे परिवार के बीच हों. कलेक्टर रविंद्र गोस्वामी ने छात्राओं के साथ लगभग 2 घंटे का समय बिताया.
मैं भी कोटा में विद्यार्थी के रूप में आया था
छात्राओं से संवाद में उन्होंने बताया कि वह भी कोटा में एक विद्यार्थी के रूप में कोचिंग के लिए आए और मन नहीं लगने पर जल्दी ही यहां से चले गए और फिर स्वयं के बूते ही पढ़ाई कर सफलता पाई. उन्होंने कहा कि विद्यार्थी जीवन में इस तरह के दौर आते हैं जब असमंजस, अनिर्णय की स्थिति होती हैं.
समस्याएं हमें मजबूत बनाती हैं
ऐसे में स्ट्रेस भी हमें घेर लेता है. ऐसे में मजबूत होकर समझदारी से काम लेने की जरूरत होती है. किसी भी समस्या से घबराएं नहीं, समस्याएं हमें मजबूत बनाने के लिए आती हैं. घबरा के भागने के बजाय इनका सामना करें और आगे बढ़ें इसी से आपका भविष्य उज्जवल ही होगा.