
Rajasthan News: राजस्थान के शिक्षा मंत्री मदन दिलावर (Madan Dilawar) का स्कूलों में अचानक चेकिंग (Surprise Inspection) का सिलसिला जारी है. शनिवार को उन्होंने कोटपूतली-बहरोड़ (Kotputli-Behror) जिले के विराटनगर और बहरोड़ में पीएम श्री गवर्नमेंट हायर सेकेंडरी स्कूल (PM Shri School) का दौरा किया. इस दौरान उन्हें स्कूल की व्यवस्थाओं में भारी कमी मिली. सुबह की प्रार्थना के समय ही स्कूल में 10 टीचर एब्सेंट थे. इसके अलावा, स्कूल के प्रिंसिपल भी 4 दिनों से बिना बताए छुट्टी पर थे.
बिना सूचना नदारद मिले शिक्षक
इंचार्ज ऋषि राज वर्मा ने बताया कि प्रिंसिपल अनिल कुमार देवरिया ने गॉलब्लैडर का ऑपरेशन कराया है. इसलिए पिछले 4 दिनों से वे बेड रेस्ट पर हैं. प्रिंसिपल के अलावा एक टीचर मेडिकल लीव पर हैं. इनके अलावा बाकी 8 शिक्षकों की छुट्टी की कोई सूचना नहीं थी.
'इतना घटिया सामान क्यों खरीदा गया?'
शिक्षा मंत्री दिलावर ने खेल के सामान की जांच की, जिसमें कई गड़बड़ियां पाई गईं. उन्होंने बताया कि खेल का सामान मार्च में ही स्कूल को मिल गया था, लेकिन अब तक उसे खोला भी नहीं गया था. खेल किट में क्रिकेट बैट और विकेट लकड़ी के बजाय प्लास्टिक के थे. बैडमिंटन का नेट और रस्सी कूदने वाली रस्सी भी खराब प्लास्टिक की थी. यहां तक कि स्टॉप वॉच और वजन करने की मशीन भी काम नहीं कर रही थी. इस पर मंत्री ने नाराजगी जताते हुए कहा कि खेल का सामान नियमों के अनुसार नहीं था. उन्होंने इस लापरवाही पर सवाल उठाया कि बच्चों के लिए इतना घटिया सामान क्यों खरीदा गया?

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किताबें थीं, पर बच्चों को नहीं मिलीं
चेकिंग के दौरान यह भी सामने आया कि स्टॉक रजिस्टर के अनुसार, बच्चों के लिए मुफ्त बुक्स 23 अगस्त को ही स्कूल में आ चुकी थीं. लेकिन इतने दिन बाद भी उन्हें बच्चों में नहीं बांटा गया था. स्टॉक रजिस्टर में किताबों की संख्या में भी बड़ी गड़बड़ी मिली. एक तरफ 182 बुक्स दर्ज थीं, वहीं दूसरे विवरण में 2000 बुक्स का डिस्ट्रिब्युशन दिखाया गया था. इसके अलावा, क्लास के अटेंडेंस रजिस्टर भी टीचर की अलमारी में बंद मिले, जिस वजह से बच्चों की हाजिरी नहीं लगाई गई थी. प्रिंसिपल के छुट्टी पर होने के कारण कैश बुक भी उनके घर पर मिली, जिसकी पुष्टि खुद प्रिंसिपल ने फोन पर की.
CBEO खेत पर थे, मंत्री बोले- कार्रवाई करो
निरीक्षण के समय जब मंत्री के स्टाफ ने विराटनगर के मुख्य ब्लॉक शिक्षा अधिकारी (CBEO) को स्कूल में बुलाया, तो उनका फोन घर पर छूट गया था और वे खेत पर गए हुए थे. बाद में जब उनका फोन आया, तो शिक्षा मंत्री ने उनकी इस लापरवाही पर सख्त नाराजगी जताई और उनके खिलाफ कार्रवाई का आदेश दिया. शिक्षा मंत्री का कहना है कि सरकार शिक्षा के स्तर को सुधारने के लिए पूरी तरह तैयार है और किसी भी तरह की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी.
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