Rajasthan By-election 2024: राजस्थान में भले ही छह विधानसभा सीटों के उपचुनाव को लेकर तारीख़ों का ऐलान नहीं हुआ है लेकिन भाजपा के बाद अब कांग्रेस भी चुनावी मोड में आ गई है. भाजपा के बड़े नेता जहां हर विधानसभा सीट पर जाकर रणनीति बना रहे हैं वहीं कांग्रेस ने जयपुर में बैठकों का दौर शुरू किया है. जयपुर कांग्रेस के वॉर रूम में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा की अध्यक्षता में देवली उनियारा और खींवसर विधानसभा चुनाव को लेकर मंथन किया जा रहा है.
बैठक में चुनावी रणनीति टिकट वितरण और संगठन को मज़बूत करने सहित कई मुद्दों पर चर्चा की जा रही है. कांग्रेस की रणनीति के हिसाब से अभी तक भारत आदिवासी पार्टी और आरएलपी के साथ चुनाव को लेकर गठबंधन की रणनीति साफ़ नहीं हो पाई है. राजस्थान में फ़िलहाल गठबंधन जैसी स्थिति दिखाई नहीं दे रही है. बैठकों में विधानसभा सीटों के साथ साथ ज़िलों के कांग्रेस के बड़े नेता भी मौजूद हैं.
कांग्रेस से इन्हें मिल सकता है टिकट
देवली-उनियारा सीट पर कांग्रेस से 5 नामों की चर्चा है. पूर्व विधायक राम नारायण मीणा, जो 2008 से 2013 तक इसी सीट से विधायक रह चुके हैं. वह विधानसभा उपाध्यक्ष भी रह चुके हैं. इसके अलावा धीरज गुर्जर का नाम भी चल रहा है, इन्हें प्रियंका गांधी का करीबी माना जाता है. वहीं नरेश मीणा, हनुमंत मीणा और रामसिंह मीणा के नाम की भी चर्चा है.
बीजेपी के संभावित उम्मीदवार
देवली-उनियारा विधानसभा सीट पर 6 लोग टिकट की दौड़ में हैं. राजेंद्र गुर्जर, विजय बैंसला, अलका सिंह गुर्जर, विक्रम सिंह गुर्जर, सीताराम पोसवाल और प्रभुलाल सैनी टिकट की दौड़ में शामिल हैं. राजेंद्र गुर्जर 2013 से 2018 तक इस सीट से विधायक रह चुके हैं.
खींवसर में बेनीवाल से गठबंधन पर संशय
कांग्रेस और हनुमान बेनीवाल की राष्ट्रीय लोकतांत्रिक पार्टी ने लोकसभा में मिलकर चुनाव लड़ा था. जिसके नतीजे में हनुमान ने नागौर में जीत दर्ज की थी. हालांकि आज कांग्रेस की खींवसर विधानसभा के संबंध में हो रही बैठक के बाद ऐसे कयास लगाए जा रहे हैं कि कांग्रेस खींवसर सीट पर अकेले चुनाव लड़ेगी. सूत्र के अनुसार भारत आदिवासी पार्टी के साथ भी गठबंधन का मामला फंस सकता है.
यह भी पढ़ें -हेड कांस्टेबल बाबूलाल बैरवा आत्महत्या मामले की होगी CBI जांच, पुलिस मुख्यालय से गृह विभाग पहुंची चिट्ठी