
उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले (Uttarkashi) के धराली गांव और इसके आस-पास मंगलवार, 5 अगस्त को आई आपदा के बाद से बचाव कार्य जारी है. वहां मलबे के बीच फंसे लोगों को वापस लाने के लिए युद्धस्तर पर अभियान चल रहा है. सेना, वायुसेना, आईटीबीपी, एनडीआरएफ, एसडीआरएफ और स्थानीय प्रशासन की टीमें लगातार प्रयास कर रही हैं. बचाव अभियान में वायुसेना के चिनूक,एमआई-17, चीता सहित कई और हेलीकॉप्टरों का इस्तेमाल किया जा रहा है. इस आपदा में अब तक 2 लोगों के शव बरामद किए गए हैं. अभी 9 सैन्यकर्मी और 7 आम नागरिक लापता हैं.

सेना, वायुसेना और आईटीबीपी की भी बचाव कार्य में मदद ली जा रही है
Photo Credit: PTI
राजस्थान के भी लोग फंसे
इस बीच उत्तराखंड के आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की ओर से जारी ताजा अपडेट के अनुसार अब तक गंगोत्री और अन्य क्षेत्रों में फंसे 274 लोगों को हर्षिल लाया गया है. इनमें गुजरात के 131, महाराष्ट्र के 123, मध्य प्रदेश के 21, उत्तर प्रदेश के 12, राजस्थान के 6, दिल्ली के 7, असम और कर्नाटक के 5-5, तेलंगाना के 3 और पंजाब का एक व्यक्ति शामिल हैं. बताया गया है कि ये सभी लोग पूरी तरह सुरक्षित हैं और उन्हें उत्तरकाशी या देहरादून भेजा जा रहा है.
बचाव कार्य का Video:-
#WATCH देहरादून: उत्तरकाशी के हर्षिल से बचाए गए 35 लोगों को भारतीय वायुसेना के चिनूक विमान से जॉली ग्रांट हवाई अड्डे पर उतारा गया।
— ANI_HindiNews (@AHindinews) August 7, 2025
सोर्स: उत्तराखंड पुलिस pic.twitter.com/M2xWtgDh5S
उत्तराखंड के आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की ओर से जारी ताजा अपडेट के अनुसार अब तक गंगोत्री और अन्य क्षेत्रों में फंसे 274 लोगों को हर्षिल लाया गया है.
रेस्क्यू किए गए 13 घायलों को मातली अस्पताल लाया गया है. इनमें से 3 को गंभीर स्थिति में एम्स ऋषिकेश, 2 को मिलिट्री हॉस्पिटल देहरादून और 8 को जिला चिकित्सालय उत्तरकाशी में भर्ती कराया गया है. गंगोत्री में अभी भी लगभग 400 लोग फंसे हुए हैं, जिन्हें आईटीबीपी द्वारा हर्षिल लाया जा रहा है और फिर वहां से हेलीकॉप्टर के जरिए मातली पहुंचाया जा रहा है.
बादल फटने से आई तबाही
उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश मे भारी बारिश के बाद बड़े पैमाने पर जान और माल का नुकसान हुआ है. इससे फ्लैश फ्लड और लैंडस्लाइड का खतरा पैदा हो गया है. मंगलवार को हर्षिल के निकट धराली गांव में जबरदस्त तबाही हुई जब बादल फटने के बाद फ्लैश फ्लड आ गया जिसने घरों, इमारतों को चपेट में ले लिया जिससे बहुत सारे लोग फंस गए. कम-से-कम पांच लोगों की मौत हुई है.
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