
Bijainagar Rape- Blackmail Case: राजस्थान के बिजयनगर रेप-ब्लैकमेल कांड में जांच के लिए एसआईटी गठित कर दी गई है. अजमेर रेंज के डीआईजी के निर्देशन में राजस्थान के बिजयनगर में दुष्कर्म-ब्लैकमेल मामले की जांच के लिए विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन किया गया है. इस दल का नेतृत्व अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (एएसपी) नेमसिंह करेंगे. टीम में अतिरिक्त एसपी भूपेंद्र शर्मा, मसूदा सीओ (सर्किल ऑफिसर) सज्जन सिंह, सीआई (सर्किल इंस्पेक्टर) विद्या मीना, बिजयनगर थानाधिकारी करण सिंह और एसआई पारुल यादव भी शामिल हैं.
अतिरिक्त एसपी नेम सिंह ने बताया, "मामले को संभालने के लिए बुधवार देर रात एसआईटी का गठन किया गया. हमारी टीम घटनास्थल का दौरा करेगी. जांच में किसी भी तरह की कमी को दूर करेगी. हम पीड़ितों और उनके परिवारों से बात करेंगे. इसके आधार पर साक्ष्यों का गहन विश्लेषण कर उसकी व्यापक जांच सुनिश्चित करेंगे."
अब तक कुल 14 आरोपियों तक पहुंची पुलिस
अब तक मामले में कुल 14 आरोपियों की गिरफ्तारी हो चुकी है. थाना प्रभारी करण सिंह ने पुष्टि की कि बिजयनगर के तारों का खेड़ा निवासी अमन उर्फ अमन मंसूरी को हिरासत में लिया गया है. पुलिस जांच के मुताबिक आरोपी अमन स्कूली लड़कियों से दोस्ती करता था और आरोपियों से उनकी मुलाकात करवाता था. पुलिस मामले में आगे की जानकारी के लिए उससे पूछताछ कर रही है.
3 नाबालिग आरोपियों को बाल सुधार गृह भेजा
बिजयनगर पुलिस ने अब तक तीन अलग-अलग मामलों के सिलसिले में 11 लोगों को गिरफ्तार किया है और 3 नाबालिगों को हिरासत में लिया है. गिरफ्तार किए गए लोगों में से 10 को जेल भेज दिया गया है, जबकि तीन नाबालिगों को बाल सुधार गृह में रखा गया है. हाल ही में एक और आरोपी की गिरफ्तारी के बाद कुल संख्या 14 पहुंच गई है.
15 फरवरी को हुआ था मामले का खुलासा
मामले का खुलासा 15 फरवरी को हुआ था. तब एक नाबालिग लड़की ने बिजयनगर थाने में शिकायत दर्ज कराई थी. इसके बाद तो मामला जैसे खुलता ही चला गया और फिर 3 लड़कियों के पिता ने भी एक रिपोर्ट दर्ज कराई. परिवादी ने शिकायत दी थी कि निजी स्कूलों की नाबालिग लड़कियों के साथ बलात्कार किया जा रहा है और अश्लील तस्वीरों और वीडियो का इस्तेमाल करके उन्हें ब्लैकमेल भी किया जा रहा है.
प्रदेश के कई हिस्सों में हुए विरोध-प्रदर्शन
पीड़िता के मुताबिक, आरोपियों ने कलमा पढ़ने और धर्म बदलने के लिए भी मजबूर किया. मामला तूल पकड़ने के बाद राजस्थान के कई इलाकों में प्रदर्शन भी हुए. आरोपियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग करते हुए बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन किए गए. पॉक्सो अधिनियम और अन्य संबंधित धाराओं के तहत दर्ज होने के बाद पुलिस की जांच जारी है.
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