Rajasthan News: लोकसभा चुनाव 2024 की तैयारी शुरू हो चुकी है. इसके साथ ही चुनाव में जीत को लेकर अपने-अपने दावे किया जा रहे हैं. वहीं फेरबदल की खबरें भी सामने आ रही है. इस बीच बीजेपी के नवनियुक्त प्रदेश महामंत्री जितेंद्र गोठवाल ने दावा किया है कि उनके संपर्क में कांग्रेस के 70 प्रतिशत विधायक हैं. हालांकि, उन्होंने यह बात उस सवाल पर कहा जिसमें उनसे पूछा गया कि बीजेपी ने 15 उम्मीदवारों के नाम घोषित करने पर नेताओं में असंतोष दिख रहा है. बीजेपी के नवनियुक्त प्रदेश महामंत्री जितेंद्र गोठवाल सोमवार को टोंक पहुंचे थे.
टोक में बीजेपी कार्यकर्ताओं ने प्रदेश महामंत्री जितेंद्र गोठवाल का स्वागत किया. वहीं जब उन्होंने मीडिया से बात की तो जब बीजेपी नेताओं में टिकट को लेकर विरोध को लेकर सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कि मुझे तो नजर आ रहा है कि बीजेपी की तरफ कांग्रेस के लोग भागकर आ रहे हैं. अगल दल बदल कानून नहीं होता तो 70 प्रतिशत कांग्रेस के विधायक तो मेरे संपर्क में हैं जो चाहते है कि मोदी जी के विकास के साथ जाएं. उन्होंने कहा, मोदी जी की पार्टी के साथ जाए... देश का विकास करने वाली पार्टी के साथ जाएं. कांग्रेस में हमेशा असंतोष है और बीजेपी में कभी असंतोष नहीं होता है.
बीजेपी में टिकट को लेकर हो रहा विरोध
बीजेपी ने राजस्थान में 15 सीटों पर उम्मीदवार घोषित कर दिये हैं. जबकि नेताओं का कहना है कि बीजेपी में सब खुश है और सभी को शीर्ष नेतृत्व का फैसला मंजूर है. लेकिन जमीन पर कुछ और ही बात हैं. चूरू सांसद राहुल कस्वां ने टिकट नहीं मिलने पर सवाल किया है कि उनकी गलती क्या है. क्या मैं ईमानदार नहीं था ? क्या मैं मेहनती नहीं था ? क्या मैं निष्ठावान नहीं था ? क्या मैं दागदार था ? क्या मैंने चूरू लोकसभा में काम करवाने में कोई कमी छोड़ दी थी ?
वहीं, जोधपुर लोकसभा सीट पर 1999 और 2004 में बीजेपी से सांसद रह चुके जसवंत सिंह बिश्नोई ने भी अपनी नाराजगी जाहिर की है. उन्होंने भी अपना दर्द बयां किया और कहा, कौन सुनेगा , किसको सुनाए, इसलिये चुप रहते हैं. हमसे अपने रूठ न जाए, इसलिये चुप रहते हैं. मैंने फ़ैसला किया है कि अब मैं एक पोस्ट चुनाव की घोषणा के बाद लिखूँगा, उसके बाद भविष्य में किसी प्रकार की पोस्ट नहीं लिखूंगा.
टिकट काटे जाने पर महामंत्री ने दी सफाई
बीजेपी नेताओं द्वारा उठाई जा रही स्थानीय प्रत्याशी की मांग को लेकर महामंत्री जितेंद्र गोठवाल ने कहा कि मांग करना सबका अधिकार है. अब हमारी और जिलाध्यक्ष की ड्यूटी बनती है कि कार्यकर्ताओं की भावनाओं को जिलाध्यक्ष प्रदेश और शीर्ष नेतृत्व तक पहुंचाएं. इसके बाद केंद्रीय नेतृत्व ही फैसला लेता है कि कौन प्रत्याशी होगा. बीजेपी में जो निर्णय कर देंगे वह सबको मंजूर होगा. उन्होंने कहा टिकट न मिलने पर यह न समझा जाए कि तलवार लटकी है.
यह भी पढ़ेंः चूरू सांसद राहुल कस्वां की नाराजगी खुल कर आयी सामने, बीजेपी से पूछा- 'मेरा गुनाह क्या है'