Rajasthan Blood Bank: रक्त दान को महादान कहा जाता है और रक्त दान को लेकर लोगों को प्रोत्साहित किया जाता है. लेकिन राजस्थान में खून का काला कारोबार चल रहा है. यह बात तब सामने आई जब राजधानी जयपुर में डोनेट ब्लड के सैकड़ों यूनिट बरामद किये गए. बताया जाता है कि जोबनेर थाना इलाके में पुलिस ने जयपुर-फलोदी मेगा हाईवे पर नाकाबंदी के दौरान एक कार से 250 यूनिट अवैध ब्लड बरामद किया गया है. अब इस मामले में सघन जांच शुरू की गई है.
पुलिस ने इस मामले की जानकारी औषधि विभाग को दी तो वहां विभाग की टीम पहुंची. मामले को लेकर ड्रग कंट्रोलर अजय फाटक का कहना है कि जब भी ब्लड का ट्रांसपोर्ट किया जाता है तो इससे जुड़े दस्तावेज़ तैयार करने पड़ते हैं. लेकिन जाँच में सामने आया कि किसी भी तरह की कोई दस्तावेज़ ब्लड ट्रांसपोर्ट के दौरान नहीं पाए गए.
सवाई माधोपुर ब्लड बैंक भेजा जाना था ब्लड
दरअसल, मकराना से ब्लड डोनेशन में ब्लड एकत्रित करके सवाई माधोपुर भेजने की बात सामने आ रही है. लेकिन सवाई माधोपुर में जिस ब्लड बैंक सेंटर पर ब्लड भेजा जाना था वहां से जुड़े कोई दस्तावेज़ नहीं पाए गए. इसके अलावा कोल्ड स्टोरेज चेन को मेंटेन भी नहीं किया गया था. जिसके कारण ब्लड ख़राब हो सकता था. फ़िलहाल औषधि नियंत्रण विभाग पूरे मामले की जांच कर रहा है और एक टीम को मकराना भी भेजा गया है.
लाइसेंस निरस्त हो सकता है
ड्रग कंट्रोलर का कहना है कि मामले की जांच की जा रही है और संबंधित ब्लड बैंक सेंटर को नोटिस भी जारी किया जाएगा. अगर जांच में किसी तरह की कोई खामी पाई गई तो मकराना और सवाईमाधोपुर ब्लड बैंक के लाइसेंस निरस्त किए जा सकते हैं. अंदेशा यह भी जताया जा रहा है कि मकराना से आखिर कही अन्य राज्यों में तो ब्लड नहीं भेजा जा रहा था विभाग इसकी भी जांच कर रहा है.
औषधि नियंत्रण विभाग की टीम ने नाकेबंदी के दौरान पकड़े गए पूरे ब्लड को फ़िलहाल राजधानी जयपुर के जयपुरिया अस्पताल में रखवाया है, ताकि ब्लड ख़राब न हो. पुलिस ने यह पूरी कार्रवाई का मुखबिर की सूचना पर की और नाकेबंदी के दौरान बड़ी मात्रा में ब्लड पकड़ा. इस दौरान पुलिस ने गाड़ी में सवार तीनों लोगों से ब्लड को लेकर पूछताछ की तो उन्होंने कोई संतोषजनक जवाब नहीं दिया.
यह भी पढ़ेंः Rajasthan: पूर्व विधायक बलजीत यादव के ठिकानों पर ED रेड में मिले 31 लाख रुपये, ED ने और क्या बताया ?