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This Article is From Sep 02, 2023

चांद के बाद अब सूर्य फतह की तैयारी, ISRO का आदित्य L1 मिशन लॉन्च, CM गहलोत ने दी बधाई

ISRO Aditya L1 Mission: चंद्रयान-3 की सफलता के बाद अब भारत सूर्य को साधने निकला है. चांद के बाद अब सूर्य फतह की तैयारी पर निकले भारत ने आदित्य L1 मिशन को लॉन्च कर दिया है. सीएम अशोक गहलोत ने इसरो के वैज्ञानिकों को बधाई दी है.

चांद के बाद अब सूर्य फतह की तैयारी, ISRO का आदित्य L1 मिशन लॉन्च, CM गहलोत ने दी बधाई
ISRO ने लांच किया आदित्य एल-1

ISRO Aditya L1 Mission: भारत ने शनिवार को अंतरिक्ष में एक और बड़ी छलांग लगा दी है. चंद्रयान-3 की सफलता के बाद अब भारत सूर्य को साधने निकला है. चांद के बाद अब सूर्य फतह की तैयारी पर निकले भारत ने आदित्य L1 मिशन को लॉन्च कर दिया है. चंद्रयान-3 की चांद पर कामयाब लैंडिंग के दसवें दिन ISRO ने आदित्य L1 मिशन लॉन्च कर दिया। आदित्य सूर्य की स्टडी करेगा। शनिवार सुबह 11.50 बजे PSLV-C57 के XL वर्जन रॉकेट के जरिए श्रीहरिकोटा के सतीश धवन स्पेस सेंटर से आदित्य L1 को लॉन्च किया गया. आदित्य एल-1 आज से 127 दिन बाद एल-1 प्वांइट पहुंचेगा. जहां से यह सूर्य के बारे में स्टडी करेगा.

श्रीहरिकोटा से लॉन्च किया गया आदित्य L1इसरो ने शनिवार (2 सितंबर) की सुबह 11:50 पर आंध्रप्रदेश के सतीश धवन स्पेस सेंटर श्रीहरिकोटा से ISRO ने अपना सूर्य मिशन आदित्य एल-1 (Aditya L-1) लॉन्च किया. आदित्य एल-1 की लॉन्चिंग का वीडियो भी सामने आया है. इसे इसरो की बड़ी सफलता माना जा रहा है. 

इसरो का रॉकेट PSLV आदित्य को पृथ्वी की निचली कक्षा में छोड़ेगा. करीब 63 मिनट 19 सेकेंड बाद आदित्य 235 x 19500 Km की ऑर्बिट में पहुंच जाएगा. वह करीब 4 महीने बाद लैगरेंज पॉइंट-1 (L1) तक पहुंचेगा. लैगरेंज पॉइंट-1 (L1) पॉइंट पर ग्रहण का प्रभाव नहीं पड़ता, जिसके चलते यहां से सूरज पर आसानी से रिसर्च की जा सकती है.
 

इस मिशन की अनुमानित लागत 378 करोड़ रुपए है. इसरो का यह मिशन अगर सफल रहा और आदित्य स्पेसक्राफ्ट लैग्रेंजियन पॉइंट 1 पर पहुंच गया, तो नए साल में इसरो के नाम ये बड़ी उपलब्धि होगी. 

सीएम गहलोत ने इसरो को दी बधाई

इसरो के आदित्य एल-1 की लॉन्चिंग पर राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने ट्वीट करते हुए लिखा कि चंद्रमा के बाद अब सूर्य की बारी, दुनिया देख रही काबिलियत हमारी! सोलर मिशन के तहत #AdityaL1 की लॉन्चिंग हेतु इसरो की पूरी टीम को असीम शुभकामनाएं।

पृथ्वी से 15 लाख किलोमीटर दूर लेंगरेंज प्वाइंट वन पर रहकर Aditya-L1 द्वारा सूर्य की स्टडी से कई महत्वपूर्ण जानकारी जुटाकर भारत अंतरिक्ष विज्ञान में कीर्तिमान स्थापित करेगा और पूरी दुनिया भारत की महिमा गाएगी.

आदित्य एल-1 से हमारे पास होंगे सूर्य के आंकड़ेः प्रोग्रामिंग मैनेजर
 

न्यूज एजेंसी एएनआई से बात करते हुए आदित्य एल1 मिशन पर जवाहरलाल नेहरू तारामंडल में प्रोग्रामिंग मैनेजर प्रेरणा चंद्रा ने शनिवार को बताया कि अन्य देशों की अंतरिक्ष एजेंसियां पहले ही सूर्य पर अवलोकन कर चुकी हैं. आदित्य एल1 के साथ हमारे पास सूर्य के आंकड़े भी मौज़ूद होंगे जिससे हमें अंतरिक्ष के मौसम और आगामी अंतरिक्ष अभियानों को समझने में बहुत मदद मिलेगी.

यह भी पढ़ें - इसरो का सूर्य मिशन आदित्य-एल1, लक्ष्‍य तक पहुंचने में लगेंगे 125 दिन
 

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