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Exclusive: राजस्थान उपचुनाव की सबसे चर्चित सीट पर सतीश पूनिया का बड़ा दावा, बोले- 'जनता करेगी खेल'

Satish Poonia Interview: राजस्थान विधानसभा की 7 सीटों पर 13 नवंबर को उपचुनाव होने जा रहे हैं. सभी पार्टी ने अपने-अपने कैंडिडेट्स मैदान में उतार दिए हैं. आज नामांकन का आखिरी दिन है. इस मौके पर पूर्व भाजपा प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनिया ने एनडीटीवी से बातचीत में बड़ा बयान दिया है.

Exclusive: राजस्थान उपचुनाव की सबसे चर्चित सीट पर सतीश पूनिया का बड़ा दावा, बोले- 'जनता करेगी खेल'
सतीश पूनिया.

Rajasthan News: राजस्थान भाजपा के पूर्व प्रदेशाध्यक्ष सतीश पूनिया (Satish Poonia) ने शुक्रवार को जैसलमेर (Jaisalmer) में एनडीटीवी राजस्थान से एक्सक्लूसिव बातचीत की. इस दौरान उन्होंने हरियाणा में बीजेपी को मिली जीत, राजस्थान में होने वाले विधानसभा उपचुनाव, खींवसर सीट पर चुनौती, पार्टी में बड़ी जिम्मेदारी मिलने जैसे तमाम मुद्दों व कयासों पर अपनी बात रखी. इंटरव्यू के दौरान उन्होंने कांग्रेस पर भी निशाना साधा. साथ ही व्यक्तिगत क्षमताओं से जैसलमेर पर्यटन के लिए प्रयास करने की बात कही. पढ़िए पूरा इंटरव्यू.

हरियाणा में जीत कैसे मिली?

हरियाणा विधानसभा चुनाव में जीत का फॉर्मूला बताते हुए सतीश पूनिया ने कहा कि आजकल चुनाव में इंजीनियरिंग व मैनेजमेंट का काम ज्यादा है. यदि कांग्रेस से तुलना करें तो संगठन में हम उनसे उत्कृष्ट हैं. प्रबंधन व रणनीति भी हमारी उनसे बेहतर थी. हम उनसे इक्कीस थे, लेकिन लोकसभा चुनाव में 5 सीटें हारने के कारण उन्होंने हमें अंडरस्टीमेट किया. मगर, सच यह था कि हम बहुत प्रतिकूलताओं में चुनाव लड़े. किसान, जवान, पहलवान, संविधान, आरक्षण को लेकर हमारे खिलाफ एक नकारात्मक कैंपेन कांग्रेस ने चलाया. कुछ हद तक भ्रम फैलाने में वो कामयाब भी हो गए. हालांकि हमने लोकसभा से लेकर विधानसभा चुनाव के बीच अच्छी तैयारी कर ली थी, जिसकी वजह से जीत दर्ज कर पाए.

क्या पूनिया का कद बढ़ेगा?

हरियाणा की जीत के बाद पार्टी में कद बढ़ने वाले सवाल पर सतीश पूनिया ने कहा, 'मैं पार्टी का कार्यकर्ता हूं. जो जिम्मेदारी तय करनी है वो पार्टी करेगी. मुझे खुशी है कि मैं विनिंग टीम का हिस्सा हूं. पार्टी से मिली जिम्मेदारी और विश्वास पर मैं खरा उतरा. मैं पार्टी का एक ऐसेस्ट हूं. मेरे बारे में मैं नहीं, पार्टी निर्णय करती है.'

SI भर्ती परीक्षा रद्द होगी या नहीं?

एसआई भर्ती परीक्षा के रद्द होने पर बने सस्पेंस पर सतीश पूनिया ने जवाब देते हुए कहा, 'मंत्री किरोड़ी लाल मीणा ने SI भर्ती परीक्षा रद्द करने की मांग की है. राज्य सरकार ने इस विषय के लिए एक कमेटी बनाई है. इसमें कई सीनियर मंत्री हैं. सभी जगह इस पर चर्चा की जा रही है, क्योंकि सभी पक्षों को सुनना जरूरी है. मुझे लगता है समय पर सरकार योग्य निर्णय करेगी.

'कांग्रेस से विरासत में मिलीं समस्याएं'

राजस्थान में बिजली संकट पर जब सतीश पूनिया से सवाल पूछा गया तो उन्होंने जवाब देते हुए कहा, 'प्रदेश में पिछले 5 साल कांग्रेस सरकार थी, जिसने हमारे लिए विरासत में बहुत सारी समस्याएं व चुनौतियां छोड़ी हैं. लोकसभा चुनाव तत्काल आ गए. इस कारण मशीनरी का जो योग्य बदलाव था, वह नहीं हो पाया. लेकिन अब उपचुनाव के बाद सरकार की भी प्राथमिकता रहेगी कि अधिकारी व कर्मचारी जनता से मेल खाकर काम करें और सरकार को सहयोग करें. इसमें ब्यूरोकेसी का बड़ा रोल रहता है.

खींवसर सीट पर इस बार मिलेगा फायदा

उपचुनाव में सबसे ज्यादा चर्चित सीट खींवसर की चर्चा करते हुए सतीश पूनिया ने कहा, 'इस सीट पर पिछली बार हम करीब ढाई हजार वोटों से हारे थे. मुझे लगता है इस बार की स्थिति में बहुत परिवर्तन है, क्योंकि अब सरकार आ चुकी है. राजस्थान का जनमानस अक्सर सत्ता और सरकार के साथ तालमेल बैठाकर चलता है. डबल इंजन की सरकार का राजस्थान का चुनाव में पार्टी को फायदा मिलेगा.'

'निवेश आने से सीमांत क्षेत्र की तरक्की'

राइजिंग राजस्थान को लेकर सतीश पूनिया ने कहा कि यह सीमानत क्षेत्र है. यहां कई समस्याओं के समाधान की जरूरत है. सोलर विंड से लेकर पर्यटन तक, अगर यहां निवेश आता है तो रोजगार के अवसर बढ़ेंगे और क्षेत्र की तरक्की भी होगी. यह तमाम बाते सरकार के संज्ञान में भी हैं और हम भी कोशिश करेंगे की इस पर काम हो.

'जैसलमेर की कनेक्टिविटी के लिए खुद बात करूंगा'

जैसलमेर टूरिज्म डेवलपमेंट में कनेक्टिविटी की कमी वाले सवाल पर सतीश पूनिया ने कहा, 'मैं मानता हूं कि जैसलमेर केवल देश या प्रदेश के नहीं, बल्कि विश्व के नक्शे पर है. टूरिज्म के साथ-साथ वेडिंग डेस्टिनेशन के हिसाब से भी लोग जैसलमेर को पसंद करते हैं. पर्यटन यहां की अर्थव्यवस्था का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है. यहां बहुत सारी चीजें इनोवेटिव तरीके से की जा सकती हैं. रही बात कनेक्टिविटी की तो मैं अपने व्यक्तिगत क्षमताओं से प्रयास करूंगा कि सरकार को इस बारे में एक सार्थक सुझाव दूं कि जैसलमेर जो अच्छे तरीके से कनेक्ट किया जाए. कुछ इंसेंटिव लिए जाए इसके लिए हम प्रयास करेंगे.

'बॉर्डर का जनजीवन आकर्षित करता है'

बॉर्डर टूरिज्म को लेकर सतीश पूनिया ने कहा कि इस सरकार ने इनिशिएटिव लिया है. उसी के तहत पूर्व में केंद्रीय गृहमंत्री यहां आए थे. तनोट माता मंदिर में विकास के लिए उन्होंने गृह मंत्रालय के जरिए कुछ फंडस भी दिए हैं. लोंगेवाला में भी ड्राइव कर बड़ी संख्या में लोग वहां आते हैं. बॉर्डर टूरिज्म में बहुत सारी संभावनाएं हैं. खासतौर पर जो बॉर्डर का जनजीवन है, वह अपने आप में सहज रूप से लोगों को आकर्षित करता है.

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