Rajasthan Politics: राजस्थान की भजनलाल सरकार द्वारा 9 नए जिले को निरस्त करने के फैसले के खिलाफ लोगों का लगातार विरोध जारी है. शनिवार को अनूपगढ़ को जिले का दर्ज खत्म किए जाने के विरोध में अनूपगढ़ नगर परिषद के 15 पार्षदों ने इस्तीफा दे दिया. सभी पार्षदों ने एसडीएम सुरेश राव को सामूहिक इस्तीफा सौपा. इस्तीफा देने वाले पार्षदों में भाजपा के भी चार पार्षद शामिल हैं. इसके अलावा नेता प्रतिपक्ष सहित कांग्रेस के चार और सात निर्दलीय पार्षद शामिल हैं. पार्षदों द्वारा इस्तीफा सौपे जाने पर जिला बचाओ संघर्ष समिति, बार संघ, विभिन्न संगठनों और स्थानीय लोगों के द्वारा सभी पार्षदों का माला पहनाकर स्वागत किया गया.
कलेक्टर को भिजवाया इस्तीफा
एसडीएम सुरेश राव ने बताया कि पार्षदों के द्वारा दिए गए सामूहिक इस्तीफे को श्रीगंगानगर जिले के कलेक्टर को भिजवा दिया गया. इस्तीफा देने के बाद पार्षदों ने कहा कि राज्य सरकार के द्वारा अनूपगढ़ जिले को रद्द कर अनूपगढ़ की जनता के साथ अन्याय किया है. उन्होंने कहा कि अनूपगढ़ की जनता ने उन्हें चुनकर नगर परिषद में भेजा था और अब जनता के हित को ध्यान में रखते हुए वह अपने पार्षद पद से इस्तीफा दे रहे हैं.
इन पार्षदों ने दिया इस्तीफा
अनूपगढ़ जिला निरस्त किए जाने पर शनिवार को नगर परिषद के कुल 15 पार्षदों में इस्तीफा दिया है. कांग्रेस के नेता प्रतिपक्ष वार्ड नंबर 15 के पार्षद दीपक गोयल, कांग्रेस के वार्ड 10 के पार्षद राजू, कांग्रेस के वार्ड नम्बर 13 के पार्षद सद्दाम हुसैन, कांग्रेस की वार्ड नंबर 2 की पार्षद सीमा, वार्ड नंबर 29 के भाजपा पार्षद मुराद खान, वार्ड नंबर 33 के भाजपा पार्षद कुमार गौरव, वार्ड नंबर 6 के पार्षद रमनदीप सिंह और वार्ड नंबर 23 की पार्षद कौशल्या देवी है. इनके अलावा निर्दलीय पार्षदों में वार्ड नंबर 21 के पार्षद संजय अरोड़ा, वार्ड नंबर 22 के पार्षद भूपेंद्र सिंह, वार्ड नंबर 17 के पार्षद सुखविंदर सिंह मक्कड़, पार्षद राजू चलाना, वार्ड नंबर 26 के पार्षद रीटा रानी, वार्ड नंबर 11 की पार्षद कमला और वार्ड नंबर 12 के पार्षद राकेश सोनी ने अपना इस्तीफा सौंपा है.
इससे पहले अनूपगढ़ के बीजेपी के नगरमंडल अध्यक्ष मुकेश शर्मा नगरमंडल उपाध्यक्ष, राजेश शास्त्री और कोषाध्यक्ष अनीश जिंदल, भाजपा के महामंत्री विनय चराया, किसान मोर्चा अध्यक्ष पवन तिवाड़ी ने सरकार के फैसले के खिलाफ मदन राठौड़ को अपना इस्तीफे भेजा था. अनूपगढ़ जिले के साथ अन्याय होने का हवाला देते हुए इन नेताओं ने इस्तीफे को स्वीकार करने की मांग की थी.
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