Success Story of Ramkesh: भरतपुर जिले में युवा नौकरी नहीं मिलने से कई बार हताश नजर आते हैं तो वहीं दूसरी ओर इसी जिले के एक किसान युवक रामकेश पढ़ा- लिखा होने के बाद भी नौकरी करने की जगह किसानी को अपना करियर चुना. रामकेश उच्चैन उपखंड के गांव कंजोली का रहने वाला है. किसानी में अपना भविष्य आजमाने के लिए उसने बैंगन की खेती करना शुरू किया था. इससे वह कुछ समय बाद अच्छा मुनाफा कमाने लगा. वह अब हर साल लाखों रुपए कमा रहा है. इस बारे में किसान का कहना है कि कम समय में अधिक मुनाफा कमाने के लिए सब्जियों की खेती करना अच्छा है. क्योंकि इससे बेहतरीन मुनाफा कमाया जा सकता है.
सरकारी नौकरी नहीं मिली तो शुरु की किसानी
किसान रामकेश कुमार ने बताया कि वह ग्रैजुएट हैं. उसने कई बार सरकारी नौकरी के लिए प्रयास किया. लेकिन जब सफलता नहीं मिली तो उन्होंने खेती करने का फैसला किया. दो साल तक पारंपरिक खेती की लेकिन इसमें लाभ नहीं मिलने पर सब्जी की खेती की ओर रुख किया. तीन साल पहले उन्होंने सब्जी की खेती में लंबे बैंगन की खेती शुरू की थी. हर साल वह दो बीघा जमीन में लंबे बैंगन की फसल उगाकर कम लागत में अच्छा मुनाफा कमा रहे हैं.
65 दिन के आस पास तैयार हो जाते है बैंगन
उसने बताया कि तीन साल पहले वह लंबे बैंगन के एक किलो बीज 1500 रुपए में बाजार से खरीद कर लाया था. उन बीजों को बोकर उनकी पौध तैयार की. जिसमें करीब एक माह का समय लगा. इसके बाद पौध को दो बीघा भूमि में रोपा और 65 दिन के आस पास उनमें से बैंगन का फल आना शुरू हो गया. इस बैंगन के पौधे की एक साल तक आयु होती है और करीब 8 माह के आस पास तक यह फल देता है. इसकी लंबाई करीब 12 से 15 सेमी और वजन 100 ग्राम के आस पास होता है. यह प्रतिदिन एक क्विंटल बैंगन तोड़े जाते है.
60 हजार रुपए की आती है लागत
किसान का कहना है कि उसे इस फसल को तैयार करने में करीब 60 हजार रुपए की लागत आती है. उसकी इस बैंगन की खेती से करीब 4 लाख रुपए तक की कमाई आसानी से हो जाती है. हालांकि अभी बाजार में इस बैंगन का मूल्य 40 से 60 रुपए प्रति किलो है. उसके बैंगन आसपास की मंडियों के साथ देश के विभिन्न मंडियों में सप्लाई होते हैं.