
Rajasthan News: केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह सोमवार को जयपुर के दौरे पर थे. इस दौरान उन्होंने एक प्रदर्शनी का उद्घाटन करने के बाद कार्यक्रम को संबोधित करते हुए पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत पर निशाना साधा. अमित शाह ने कहा कि पिछली बार राइजिंग राजस्थान के दौरान जब वह यहां आए थे, तब अशोक गहलोत ट्वीट करके सवाल पूछ रहे थे कि इन MOU में से कितने लागू होंगे? उस समय गहलोत का कमेंट मैने पढ़ा कि 35 लाख के MOU में कितने जमीन पर आए, लेकिन आज गहलोत को कहना चाहता हूं कि यह भारतीय जनता पार्टी की सरकार है, यह कांग्रेस की सरकार नहीं है.
'हम जो कहते हैं, वह करते हैं'
गृहमंत्री ने आगे कहा कि हम जो कहते हैं, वह करते हैं. मुझे आनंद है कि इतने कम समय में भजनलाल सरकार ने 35 लाख करोड़ में से 7 लाख करोड़ के MOU को जमीन पर उतारने का काम किया है. मुझे भरोसा है कि देश भर में जो MOU पूरे करने का प्रतिशत है, उससे कहीं ज्यादा राजस्थान की सरकार पूरे करेगी. मैं जब प्रचार करने आया था और सरकार बदलने की गुहार करते थे तो एक मुद्दा यह भी था कि कांग्रेस की सरकार विद्यार्थियों की ड्रेस में भी कटकी और बटकी दोनों करते हैं.
अब वह भजनलाल सरकार ने इसे भी पूरा करना शुरू कर दिया. राजस्थान के लिए 35 लाख करोड़ के जो नए MOU हुए उनमें से 3 लाख करोड़ के MOU जमीन पर उतर चुके और 4 लाख करोड़ की भूमि पूजन के कार्यक्रम इसी मंच से संपन्न हुआ. इसी के साथ हजारों करोड़ के विकास के कार्यक्रम यहां शुरू हुए हैं. मुख्यमंत्री भजनलाल ने यहां प्रदर्शनी लगवाई है. मेरा उनसे आग्रह है कि प्रदर्शनी का कार्यकाल बढ़ाया जाए और इसी दीपावली के अगले दिन तक किया जाए.
सभी से प्रदर्शनी देखने की अपील
सार्वजनिक कार्यक्रम से आपराधिक न्याय प्रणाली से जुड़े सभी लोगों- चाहे पुलिस हो, अधिवक्ता हो, चाहे अधिवक्ता बनने वाले विद्यार्थियों, इन सभी से मेरा अनुरोध है कि इस प्रदर्शनी को जरूर देखें, क्योंकि आने वाले दिनों में हमारी आपराधिक न्याय प्रणाली में जो बहुत बड़ा परिवर्तन आने वाला है. इसी के माध्यम से हम जान पाएंगे कि 160 साल का पुराने कानून को समाप्त करके नरेंद्र मोदी तीन नए कानून लाए हैं.
2 साल इस व्यवस्था को लागू होने में और लगेंगे, लेकिन 2027 के बाद जो भी FIR होगी, उसकी 3 साल के अंदर ही सुप्रीम कोर्ट तक न्याय देने की व्यवस्था इस कानून के तहत शुरू हो जाएगी. जब यह कानून संसद में पास हुए एक वरिष्ठ अधिवक्ता का फोन आया कि कितने सालों से में न्याय दिलाने का काम करता हूं. अंग्रेजों के पार्लियामेंट में पारित हुए और अंग्रेजी शासन बचाने के लिए बने कानून की वजह भारत कि भारत की संसद में पारित होने वाले और भारतीयों को न्याय देने वाले कानून की शुरुआत एक ऐतिहासिक बात है.
राजस्थान में सजा दिलाने की दर 42 फीसदी थी, जिसे हम 1 साल में 60 फीसदी पर ले आए हैं और मैं भरोसा दिलाता हूं, जब इसका पूरा इंप्लीमेंट हो जाएगा तो यह 60 फीसदी से आगे बढ़कर 90 प्रतिशत तक पहुंच जाएगा. अब जेल से भी अपराधी वीडियो ग्राफी से अपनी पेशी लगाएंगे अगर अलग जगह पुलिस अधिकारी हैं तो वह भी पेश हो सकता है. बैंक के कर्मचारी अस्पताल के डॉक्टर और एफएसएल के वैज्ञानिक भी भी अपीयर हो सकते हैं. इससे काफी समय और पैसा बचेगा व पुलिस कस्टडी से भागने की संभावना भी लगभग जीरो हो जाएगी.
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