Rajasthan: समरावता सहित आस पास के जो गांव है, उनको देवली से उनियारा में शामिल करने पर सहमति बन गई है. राज्य सरकार जल्द ही आदेश जारी करेगी. ग्रामीणों के मतदान के बहिष्कार का यही सबसे बड़ा मुद्दा था. समरावता हिंसा में हुए नुक़सान की भरपाई के लिए संभागीय आयुक्त जांच करेंगे. जांच रिपोर्ट आने के बाद राहत प्रदान की जाएगी. समरावता सहित 8 गांव को उनियारा में मिलाया जाएगा. इसकी सहमति बन गई है.
देवली उनियारा के समरावता में हुई थी हिंसा
राजस्थान में 7 विधानसभा सीटों पर 13 नवंबर को मतदान था. देवली उनियारा के समरावता गांव के लोगों ने मतदान का बहिष्कार करके धरने पर बैठे थे. नरेश मीणा ने एसडीएम को थप्पड़ जड़ दिया थ. इसके बाद समरावता ग्रामीणों के साथ धरने पर बैठ गए. उन्होंने कहा, "साथियों मैं समरावता में लोगों के बीच धरने पर बैठा हूं. इस पंचायत के लोगों को उनियारा उपखंड से हटाकर देवली उपखंड में डाल दिया. उनियारा इनका 15 किलोमीटर पड़ता है, और देवली 50 किलोमीटर पड़ता है. इन लोगों की मांग है कि कलेक्टर साहब यहां आकर देवली उपखंड से उनियारा उपखंड में वापस डाला जाए." इसी मांग को लेकर समरावता के गांव वाले चुनाव में मतदान का बहष्किार किया था.
धरने पर बैठे ग्रामीणों ने पुलिस पर कर दिया था पथराव
धरने पर बैठे नरेश मीणा को पुलिस गिरफ्तार करने पहुंची तो उनके समर्थकों ने पुलिस पर पथराव कर दिया. पुलिस ने लाठीचार्ज किया और आंसू गैस के गोले छोड़े. भीड़ ने पुलिस की गाड़ियों में आग लगा दी. इस दौरान 10 से अधिक पुलिसकर्मी घायल हो गए. STF के 3 जवानों के सिर फूट गए. पुलिस की गाड़ियों और दर्जनों बाइक फूंक दी थी. नरेश मीणा फरार हो गए थे.
नरेश मीणा की गिरफ्तारी पर हाईवे कर दिया था जाम
अगले दिन 14 नवंबर को नरेश मीणा फिर समरावता में घटना स्थल पर पहुंचे. पुलिस ने नरेश मीणा को गिरफ्तार कर लिया. इसके विरोध में ग्रामीणों ने हाईवे जाम कर दिया था.
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