
Bhinmal News: जालोर के भीनमाल के नासोली गांव में मेघवाल समाज के सामाजिक बहिष्कार और प्रेम विवाह को लेकर उपजा विवाद अब गंभीर रूप लेता जा रहा है. यह मामला तब शुरू हुआ जब पिंका मेघवाल ने श्रवण मेघवाल से प्रेम विवाह किया, जिसे जातीय पंचों ने अस्वीकार कर दिया. इस विवाह के बाद पिंका के ससुराल पक्ष, यानी नासोली गांव के करीब 100 मेघवाल परिवारों को समाज से बहिष्कृत कर दिया गया और उन पर 12 लाख रुपये का सामूहिक जुर्माना भी लगाया दिया.
एसपी को दी शिकायत
बताया जा रहा है कि इन बहिष्कृत परिवारों को सामाजिक कार्यक्रमों में हिस्सा लेने से रोका जा रहा है, जबकि जातीय पंच इन आरोपों से इनकार कर रहे हैं. पिंका ने 27 मार्च को जालौर एसपी कार्यालय में शिकायत दर्ज कराई थी. जिसके बाद भीनमाल थाने में जातीय पंचों के खिलाफ मामला दर्ज हुआ.
पंच बोले- किसी का बहिष्कार नहीं किया गया
पुलिस ने जांच शुरू की है, लेकिन आरोप हैं कि पंच जांच को कमजोर करने का प्रयास कर रहे हैं. 5 अप्रैल को पंचों ने एसपी कार्यालय में पेश होकर दावा किया कि “किसी को बहिष्कृत नहीं किया गया”, जबकि प्रभावित परिवारों का कहना है कि यह पूरी तरह झूठ है.
इस अन्याय के खिलाफ दर्जनों पीड़ितों ने थानाधिकारी रामेश्वर भाटी से मुलाकात कर सख्त कार्रवाई की मांग की है. उनका कहना है कि वे सामाजिक भेदभाव का सामना कर रहे हैं और पंच दबाव बनाकर मामले को खत्म करना चाहते हैं. जबरन सामाजिक बहिष्कार एक गंभीर अपराध है जो SC/ST Act और अन्य कानूनी प्रावधानों के तहत दंडनीय है. ऐसे में पीड़ित परिवारों को त्वरित न्याय की उम्मीद है.
(भरत राजपुरोहित की रिपोर्ट)
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